पंजाब के पूर्व प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष नवजोत सिंह सिद्धू को घेरने और पार्टी से बाहर करने की तैयारी शुरू हो गई है। एआईसीसी के पंजाब और चंडीगढ़ प्रभारी हरीश चौधरी ने कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी को पत्र लिखकर आरोप लगाया है कि नवजोत सिंह सिद्धू अकालियों से मिले हुए हैं। हरीश ने सिद्धू के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई की मांग की है।हरीश चौधरी ने कांग्रेस अध्यक्ष को 23 अप्रैल को पत्र लिखा था। उन्होंने लिखा है, नवंबर से अब तक पंजाब में पार्टी के मामलों का प्रभारी होने के नाते, मेरा यह भी मानना है कि सिद्धू ने लगातार कांग्रेस सरकार के कामकाज की आलोचना की, इसे भ्रष्ट बताया। सिद्धू दरअसल शिरोमणि अकाली दल (बादल) के साथ मिले हुए हैं।
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चौधरी ने विधानसभा चुनाव का हवाला देते हुए कहा, चूंकि पार्टी चुनाव लड़ रही थी और सिद्धू के के बयान पार्टी को लगातार कमजोर कर रहे थे। इस तरह की गतिविधियों से बचने के लिए उन्हें बार-बार मेरी सलाह के बावजूद, वह लगातार चन्नी सरकार के खिलाफ बोलते रहे।
पत्रकारों ने हरीश चौधरी से जब इस संबंध में पूछा गया तो उन्होंने कहा कि यह हमारी पार्टी का आंतरिक मामला है।
हालांकि चौधरी ने कहा कि वह सिद्धू की वर्तमान गतिविधियों के बारे में पंजाब कांग्रेस के नए प्रमुख राजा वारिंग के विस्तृत नोट को भी भेज रहे हैं।
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उन्होंने स्पष्ट रूप से उल्लेख किया कि पंजाब कांग्रेस के पूर्व प्रमुख को पार्टी के ऊपर खुद को स्थापित करने और दूसरों के लिए पार्टी अनुशासन भंग करने का उदाहरण स्थापित करने की अनुमति नहीं दी जा सकती है। चौधरी ने कहा, इसलिए यह सिफारिश की जाती है कि सिद्धू से स्पष्टीकरण मांगा जाए कि उनके खिलाफ अनुशासनात्मक कार्यवाही क्यों नहीं शुरू की जानी चाहिए। इस बीच, कांग्रेस के दिग्गज नेता- पूर्व केंद्रीय मंत्री केवी थॉमस और पंजाब कांग्रेस के पूर्व प्रमुख सुनील जाखड़ पहले से ही अपनी कथित "पार्टी विरोधी गतिविधियों" के लिए पार्टी की कार्रवाई का सामना कर रहे हैं।
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