राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने न्यायमूर्ति चंद्रचूड़ को भारत के मुख्य न्यायाधीश के रूप में 9 नवंबर से नियुक्त किया है। वह देश के 50वें मुख्य न्यायाधीश यानी सीजेआई होंगे। न्यायमूर्ति चंद्रचूड़ वर्तमान सीजेआई यूयू ललित की सेवानिवृत्ति के बाद कार्यभार संभालेंगे।
इससे पहले भारत के मुख्य न्यायाधीश यूयू ललित ने उनके उत्तराधिकारी के रूप में न्यायमूर्ति धनंजय वाई चंद्रचूड़ की सिफारिश की थी। सीजेआई यूयू ललित इस साल 8 नवंबर को सेवानिवृत्त होने वाले हैं। जस्टिस चंद्रचूड़ कई संविधान पीठों और ऐतिहासिक फ़ैसलों का हिस्सा रहे हैं। क़ानून मंत्री किरन रिजिजू ने चंद्रचूड़ के सीजेआई नियुक्त किए जाने की जानकारी दी।
In exercise of the power conferred by the Constitution of India, Hon'ble President appoints Dr. Justice DY Chandrachud, Judge, Supreme Court as the Chief Justice of India with effect from 9th November, 22.
— Kiren Rijiju (@KirenRijiju) October 17, 2022
जस्टिस चंद्रचूड़ का कार्यकाल 2 साल का होगा और वह नवंबर, 2024 में रिटायर होंगे। जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ का पूरा नाम धनंजय यशवंत चंद्रचूड़ है। दिल्ली के सेंट कोलंबिया स्कूल से अपनी शुरुआती पढ़ाई करने के बाद जस्टिस चंद्रचूड़ ने दिल्ली के सेंट स्टीफन कॉलेज से इकनॉमिक्स और मैथमेटिक्स में ऑनर्स किया है। जस्टिस चंद्रचूड़ ने दिल्ली यूनिवर्सिटी से एलएलबी करने के बाद हावर्ड यूनिवर्सिटी से एलएलबी की डिग्री ली है।
जस्टिस चंद्रचूड़ 1998 से लेकर 2000 तक भारत सरकार के एडिशनल सॉलिसिटर जनरल रहे हैं। वह जून, 1998 से मार्च 2000 तक मुंबई हाई कोर्ट में सीनियर एडवोकेट रहे हैं। मार्च 2000 से अक्टूबर 2013 तक वह बॉम्बे हाईकोर्ट में जज रहे और अक्टूबर 2013 से मई 2016 तक इलाहाबाद हाईकोर्ट के चीफ़ जस्टिस रहे।
एडवोकेट के तौर पर जस्टिस चंद्रचूड़ संवैधानिक और प्रशासनिक क़ानूनों से जुड़े कई मामले देखते रहे हैं। इसके इसके साथ ही वह एचआईवी पॉजिटिव, धार्मिक और भाषाई अल्पसंख्यक समुदाय के अधिकारों और श्रम व औद्योगिक क़ानूनों के मामलों से जुड़े रहे हैं।
जस्टिस चंद्रचूड़ ने हाल ही में जजों के खिलाफ मीडिया में किए गए व्यक्तिगत हमलों पर नाराजगी जताई थी। उन्होंने कहा था कि आप जजों को कितना निशाना बना सकते हैं इसकी एक सीमा है। जस्टिस चंद्रचूड़ ने पिछले साल कहा था कि यह देश के बुद्धिजीवियों का कर्तव्य है कि वे सरकार के झूठ को बेनकाब करें।
बता दें कि सीजेआई यूयू ललित से पहले पूर्व सीजेआई एनवी रमना इसी साल 26 अगस्त को रिटायर हुए थे और उन्होंने अगले सीजेआई के रूप में यूयू ललित के नाम की सिफारिश की थी। सीजेआई के रूप में यूयू ललित का कार्यकाल 3 महीने का रहा।
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