लखीमपुर खीरी जिले में बीजेपी के बढ़त के क्या मायने हैं? किसान आंदोलन के दौरान किसानों को कुचलने की घटना इसी जिले में हुई थी। केंद्रीय मंत्री अजय मिश्रा टेनी का बेटा उस मामले में आरोपी है। इतना सब कुछ होने के बावजूद लखीमपुर खीरी जिले में बीजेपी को निर्णायक बढ़त मिल चुकी है। ताजा संकेतों के मुताबिक निघासन सीट से बीजेपी के शशांक वर्मा सपा के आर.एस. कुशवाहा से लगभग 40 हजार वोटों से आगे चल रहे हैं।
लखीमपुर में किसान आंदोलन के दौरान 4 किसानों को गाड़ी से कुचला गया था, जबकि 4 अन्य की मौत यहां हुई हिंसा में हुई थी। वहां के किसान तीन विवादास्पद कृषि कानूनों का विरोध कर रहे थे, जिन्हें अंत में सरकार ने वापस ले लिया था। सभी विपक्षी दलों ने इस पूरे चुनाव में इस मुद्दे को उठाया था। उम्मीद थी कि सत्ताधारी दल को "किसान विरोधी" होने के लिए जनता दंडित करेगी।
किसान कांड वाले लखीमपुर खीरी में भी बीजेपी ने पलट दी बाजी
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- 29 Mar, 2025
जहां किसानों को कुचलने की घटना हुई थी, उसी लखीमपुर जिले में जनता ने बीजेपी को सभी सीटों पर भरपूर वोट दिया है। जबकि इस जिले में विपक्ष का प्रदर्शन बहुत ही निचले स्तर का है।
