देश की शिक्षा नीति और कृषि सुधार जिस दिशा में गए हैं अब देश की दूरसंचार नीति भी उसी दिशा में जाती दिख रही है। नई शिक्षा नीति जिस समय जारी की गई उस समय दबी जबान से ही सही, ऐसे बहुत से सुर उठे थे कि इसे बनाने में सभी हितधारकों यानी स्टेकहोल्डर्स की राय नहीं ली गई।

लगभग डेढ़ महीने से किसान संगठन दिल्ली को घेरे बैठे हैं। और अब जब अगले 10 साल के लिए देश की स्पेक्ट्रम नीति तय हो रही है, दूरसंचार सेवाएं देने वाली कंपनियाँ नाराज़ हैं कि उनकी राय नहीं ली जा रही है।
कृषि सुधारों के नाम पर बने तीन क़ानूनों में भी यही बात सामने आई। नतीजा यह है कि लगभग डेढ़ महीने से किसान संगठन दिल्ली को घेरे बैठे हैं। और अब जब अगले 10 साल के लिए देश की स्पेक्ट्रम नीति तय हो रही है, दूरसंचार सेवाएं देने वाली कंपनियाँ नाराज़ हैं कि उनकी राय नहीं ली जा रही है।