आम आदमी पार्टी ने आरोप लगाया है कि भाजपा सरकार राहुल गांधी की तरह ही राघव चड्ढा की सदस्यता खत्म करना चाहती है। आप की गुरुवार को हुई प्रेस कॉन्फ़्रेंस में पार्टी नेता संजय सिंह ने यह आरोप लगाया है। उनका यह बयान बीजेपी द्वारा राज्यसभा में दिल्ली सेवा विधेयक से जुड़े प्रस्ताव में पांच सांसदों के कथित फर्जी हस्ताक्षर करने का राघव चड्ढा पर आरोप लगाए जाने के बाद आया है।
प्रेस कॉन्फ़्रेंस में संजय सिंह ने आरोप लगाया, 'बीजेपी तानाशाही घोषित कर दे, लोकतंत्र का ड्रामा क्यों कर रही है? मोदी सरकार ने एक नई परंपरा शुरू की है। जो भी मोदी जी के ख़िलाफ़ बोलेगा, उसे सरकार निलंबित कर देगी, सदस्यता छीन लेगी या एफ़आईआर कर देगी। दुनिया की सबसे बड़ी अफवाह कंपनी बीजेपी के गृहमंत्री अमित शाह झूठ बोलते हैं कि फ़र्ज़ी दस्तख़त कर दिए। जबकि सिलेक्ट कमेटी के लिए किसी भी सदस्य का नाम प्रस्तावित किया जा सकता है, इसके लिए दस्तख़त की ज़रूरत नहीं है। इनका मक़सद एक ही है कि जैसे राहुल गांधी की सदस्यता छीनी थी, वैसे ही राघव चड्ढा की सदस्यता छीनी जाए।'
AAP MPs including Shri @SanjayAzadSln & Shri @raghav_chadha addressing a very important Press Conference | LIVE https://t.co/y4jUnJNiTr
— AAP (@AamAadmiParty) August 10, 2023
प्रेस कॉन्फ़्रेंस में राघव चड्ढा ने सफ़ाई में कहा कि मेरे खिलाफ़ दुष्प्रचार शुरू किया गया कि मेरे हस्ताक्षर में फर्जीवाड़ा हो गया। उन्होंने कहा, 'मैं बीजेपी को चुनौती देता हूँ कि वो कागज़ दिखाए, जिस पर फ़र्ज़ी दस्तख़त हैं। जब भी कोई विवादास्पद विधेयक आता है तो उस पर अधिक चर्चा के लिए सिलेक्ट कमेटी बनाई जा सकती है, जिसमें सदस्यों का नाम प्रस्तावित किया जा सकता है। जिसे उस कमेटी में नहीं रहना होता है, वो नाम वापस ले लेता है। इसमें सिग्नेचर की ज़रूरत ही नहीं है।'
उन्होंने कहा कि वह उन पर जालसाजी के झूठे आरोप लगाने वाले भाजपा के लोकसभा सदस्यों के खिलाफ विशेषाधिकार समिति और अदालत का दरवाजा खटखटाएंगे। उन्होंने संसदीय बुलेटिन दिखाया और कहा कि उनके खिलाफ किसी भी शिकायत में जालसाजी और फर्जी हस्ताक्षर का जिक्र नहीं है।
आप नेता ने कहा कि सबूत सहित आया हूँ। उन्होंने कहा, 'संसदीय बुलेटिन में Forgery/Forged/Sign/Signature/हस्ताक्षर — किसी भी शब्द का प्रयोग नहीं किया गया — सिर्फ़ ये लिखा गया कि जांच करके बताएं। अगर हस्ताक्षर संबंधित कोई फर्जीवाड़ा होता, तो कहीं दस्तख़त शब्द का तो इस्तेमाल होता? इस देश के बड़े नेताओं के खिलाफ़ प्रिविलेज कमेटीज ने कार्रवाई शुरू की- स्वर्गीय अटल बिहारी वाजपेई जी, स्वर्गीय इंदिरा गांधी जी, स्वर्गीय अरुण जेटली जी, मनमोहन सिंह जी, मोरारजी देसाई जी। उस श्रेणी में हमारा नाम भी आया, गर्व से अपनी बात उसके सामने रखेंगे। भाजपा के झूठ का पर्दाफाश होगा।'
उन्होंने कहा,
“
चूँकि मैंने दिल्ली सेवा विधेयक के खिलाफ दृढ़ता से बात की थी, इसलिए मेरे खिलाफ आरोप लगाए गए। मेरे खिलाफ दुष्प्रचार किया गया। उन्हें समस्या है क्योंकि एक 34 वर्षीय सदस्य ने उन्हें चुनौती दी।'
राघव चड्ढा, आप नेता
बता दें कि दिल्ली सेवा विधेयक की जाँच के लिए सोमवार को उच्च सदन में राघव चड्ढा द्वारा एक चयन समिति का प्रस्ताव रखा गया। चार सांसदों, सस्मित पात्रा (बीजू जनता दल), एस फांगनोन कोन्याक (भाजपा), एम थंबीदुरई (एआईएडीएमके) और नरहरि अमीन (भाजपा) ने आरोप लगाया है कि राघव चड्ढा ने उनकी सहमति के बिना प्रस्तावित चयन समिति में उनका नाम शामिल किया है। राज्यसभा के उपसभापति हरिवंश ने सोमवार को कम से कम चार सांसदों की शिकायतों की जांच की घोषणा की कि उनके नाम उनकी सहमति के बिना प्रस्तावित चयन समिति में शामिल किए गए थे।
उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने बुधवार को चड्ढा द्वारा सांसदों की सहमति के बिना उन्हें हाउस पैनल में नामित करने के लिए सांसदों के विशेषाधिकार के उल्लंघन की शिकायतों से संबंधित मामला विशेषाधिकार समिति के पास भेज दिया।
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