पंजाब के मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाक़ात कर कृषि क़ानून वापस लेने का आग्रह उनसे किया है। उन्होंने प्रधानमंत्री से कहा है कि पंजाब के किसानों में ज़बरदस्त असंतोष और गुस्सा है और इसलिए ये क़ानून तुरन्त वापस लिए जाने चाहिए।
उन्होंने यह भी कहा कि संबंधित क़ानूनों में संशोधन किया जाए ताकि किसानों को भी मुफ़्त क़ानूनी सलाह मिल सके।
पंजाब के मुख्यमंत्री ने किसान आन्दोलन पर चिंता जताते हुए कहा कि लंबे समय तक आन्दोलन चलते रहने से यह ख़तरा है कि राष्ट्र-विरोधी ताक़तें इसका फ़ायदा उठा लें।
बता दें कि पिछले साल संसद से पारित तीन कृषि क़ानूनों का व्यापक विरोध हुआ है और इन क़ानूनों को रद्द करने की माँग करते हुए किसान आन्दोलन कर रहे हैं। राजधानी दिल्ली से सटी उत्तर प्रदेश और हरियाणा सीमा पर किसान धरने पर बैठे हुए हैं।
किसानों के साथ सरकार की कई दौर की बातचीत हो चुकी है जो नाकाम रही है। सरकार का कहना है कि वह किसानों से बात करने को तैयार है, क़ानूनों में संशोधन भी किया जा सकता है, पर ये क़ानून किसी कीमत पर वापस नहीं लिए जाएंगे।
किसानों का कहना है कि कृषि क़ानूनों को रद्द किए जाने से कम पर वे राजी नहीं हैं।
जिच बरक़रार है।
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