बीजेपी एक राष्ट्रीय राजनीतिक पार्टी है। केंद्र में पूर्ण बहुमत की सरकार है। देश के बड़े भू-भाग में राज्य सरकारें भी बीजेपी की ही हैं। 2018 छोड़कर पिछले पाँच वर्षों में ज़्यादातर चुनाव बीजेपी ही जीतती रही है। 2014 में जब नरेंद्र मोदी की अगुवाई में केंद्र सरकार बनी थी तो देश के कई राज्यों में बीजेपी विरोधी सरकारें थीं लेकिन नरेंद्र मोदी की लहर ऐसी चली कि ज़्यादातर राज्यों में बीजेपी की सरकारें बन गईं। लेकिन विधानसभा के 2018 के चुनावों में बीजेपी को हार का सामना करना पड़ा। पाँच राज्यों में जहाँ चुनाव हुए उसकी सरकार कहीं नहीं बनी। तीन राज्यों, मध्य प्रदेश, राजस्थान और छत्तीसगढ़ में बीजेपी को अपनी बहुत बड़े बहुमत वाली सरकारें गँवानी भी पड़ीं। इन राज्यों में बीजेपी की हार के बहुत सारे नतीजे निकले लेकिन जो नतीजा बीजेपी के लिए सबसे ज़्यादा चिंताजनक रहा वह राहुल गाँधी का एक मज़बूत नेता के रूप में उभरना माना जाता है।
निशाने पर प्रियंका गाँधी और वार रॉबर्ट वाड्रा पर
- राजनीति
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- 8 Feb, 2019

जब से प्रियंका गाँधी को कांग्रेस का महासचिव बनाया गया है तब से कांग्रेस को वही मीडिया स्पेस मिलने लगा है जो प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को मिला करता था। यह बीजेपी के लिए चिंता की बात है।
तीन राज्यों में बीजेपी को हराकर सरकार बनाने के बाद राहुल गाँधी के आत्मविश्वास में वृद्धि हुई और उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ख़िलाफ़ हमले और तेज़ कर दिए। बीजेपी ने पिछले कई वर्षों में राहुल गाँधी को एक अगंभीर नेता के रूप में प्रोजेक्ट किया था, लेकिन विधानसभा 2018 के बाद अब बीजेपी उनको गंभीरता से लेने लगी है। लेकिन अभी भी मीडिया में राहुल गाँधी को उतना मीडिया स्पेस नहीं मिलता जितना बीजेपी के दूसरी लाइन के नेताओं को मिलता रहा है। इधर एक बदलाव हुआ है।