कांग्रेस में नेतृत्व में बदलाव और पार्टी की कार्यशैली में सुधार की मांग को लेकर चिट्ठी लिखने वाले नेताओं को हाशिए पर धकेलने का सिलसिला जारी है। एक के बाद एक समितियों के गठन में इन नेताओं को अनदेखा करके साफ़ संदेश दिया जा रहा है कि पार्टी आलाकमान इन्हें इनके किए की सज़ा देने पर उतारू है।