नगालैंड में सुरक्षा बलों की ओर से किया गया नरसंहार अगर दुखद और दुर्भाग्यपूर्ण है तो उसके प्रति शेष भारत में उपेक्षा का भाव और भी विचलित करने वाला है। अगर विपक्षी दलों और मानवाधिकारों की चिंता करने वालों को छोड़ दें तो इस क़त्ले आम को लेकर कहीं कोई हलचल, कोई प्रतिक्रिया नहीं दिखाई देती। कुछ इस तरह का ठंडापन है मानो ये वारदात अपने मुल्क में न होकर कहीं दूर किसी अपरिचित देश में हुई हो।