कॉर्डेलिया क्रूज़ ड्रग्स मामले में 2 अक्टूबर से नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो की हिरासत में रहे बॉलीवुड अभिनेता शाहरुख के बेटे आर्यन ख़ान को एडिशनल चीफ मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट ने न्यायिक हिरासत में भेज दिया है।
आर्यन के अलावा अरबाज़ मर्चेन्ट समेत अन्य 7 अभियुक्तों को भी न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है।
आर्यन के वकील सतीश मानेशिंदे ने आर्यन की ज़मानत याचिका अदालत में डाल दी, लेकिन एनसीबी की तरफ से एडिशनल सॉलिसिटर जनरल अनिल सिंह ने ज़मानत का विरोध किया।
इसके बाद मजिस्ट्रेट ने ज़मानत पर सुनवाई शुक्रवार दोपहर 12.30 बजे तक के लिए टाल दी। आर्यन के वकील ने कोर्ट से दरखास्त की कि अभियुक्तों को जेल भेजने की वजाय एनसीबी दफ़्तर में ही रखा जाए। इसे मानते हुए मजिस्ट्रेट ने सभी अभियुक्तों को एनसीबी दफ़्तर में रखने का आदेश दिया।
अदालत में पेशी
इससे पहले आर्यन खान, अरबाज़ मर्चेंट और मुनमुन धमेचा समेत 8 अभियुक्तों की एनसीबी की कस्टडी गुरुवार को ख़त्म हो रही थी। करीब 3 बजे एनसीबी की टीम सभी अभियुक्तों को लेकर कोर्ट पहुंची।
एनसीबी का पक्ष रखने के लिए एडिशनल सॉलिसिटर जनरल अनिल सिंह अदालत पहुंचे। अनिल सिंह ने अदालत में बहस शुरू करते ही कहा कि इस ड्रग्स रैकेट केस में अभी भी गिरफ़्तारी हो रही है, जिसके चलते आर्यन ख़ान, अरबाज़ मर्चेंट और दूसरे अन्य अभियुक्तों से एनसीबी की हिरासत में पूछताछ करना ज़रूरी है।
अनिल सिंह ने कहा कि अरबाज मर्चेंट से हुई पूछताछ के बाद एनसीबी ने अचित कुमार को गिरफ़्तार किया। सिंह ने कहा कि अचित कुमार से एनसीबी ने ढाई ग्राम गांजा बरामद किया है। इसलिए उसे आर्यन ख़ान और अरबाज मर्चेन्ट के साथ आमने सामने बैठाकर पूछताछ करनी है।
अचित को भी हिरासत
अचित के वकील ने विरोध करते हुए कहा कि अचित से ड्रग्स बहुत कम मात्रा में बरामद किया गया है, इसलिए उसे न्यायिक हिरासत में भेजा जाए। लेकिन अदालत ने अचित को 9 अक्टूबर तक एनसीबी की हिरासत में भेज दिया।
इसके बाद एडिशनल सॉलिसिटर जनरल अनिल सिंह ने आर्यन ख़ान की कस्टडी लेने के लिए बहस शुरू की।सिंह ने कहा कि
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आर्यन और जो नया अभियुक्त पकड़ा गया है, उससे पूछताछ करनी है। इसलिए एनसीबी को आर्यन खान और अरबाज मर्चेंट समेत सभी अभियुक्तों की 11 अक्टूबर तक एनसीबी की हिरासत में भेजा जाए।
अनिल सिंह, एडिशनल सॉलिसिटर जनरल
क्या कहा आर्यन के वकील ने?
लेकिन आर्यन ख़ान के वकील सतीश मानेशिंदे ने एनसीबी द्वारा मांगी गई कस्टडी का विरोध करते हुए कहा कि आर्यन ख़ान पहले से ही 5 दिन से एनसीबी की हिरासत में हैं। मानेशिंदे ने कहा कि पिछले 2 दिनों से तो एनसीबी ने आर्यन से पूछताछ भी नहीं की है, ऐसे में उन्हें एनसीबी की कस्टडी में ना भेजा जाए।
मानेशिंदे ने एनसीबी की दलीलों का विरोध करते हुए कहा कि एनसीबी के अधिकारी बेवजह इस केस को आगे खींच रहे हैं। इस केस में कोई पूछताछ भी नहीं की जा रही है, जिससे साबित होता है कि एनसीबी के अधिकारियों के पास इस केस में कोई अहम सुराग हाथ नहीं लग पाए हैं।
मानेशिंदे ने कहा कि आर्यन खान को क्रूज़ पर सिर्फ गेस्ट बतौर बुलाया गया था। लेकिन एनसीबी ने आर्यन और उनके साथियों की 4 दिन की कस्टडी बढ़ाने की मांग जारी रखी।
सतीश मानेशिंदे ने कोर्ट में आर्यन की तरफ से दलील दी है कि आर्यन के खास दोस्त प्रतीक ने फोन पर बताया था कि उसे क्रूज पर गेस्ट के तौर पर इनवाइट किया गया था।
मानेशिंदे ने कहा कि क्रूज़ पर 1300 से भी ज्यादा लोग थे, लेकिन सिर्फ 8 लोगों को ही गिरफ्तार क्यों किया गया।
आर्यन के वकील सतीश मानेशिंदे ने कोर्ट में कहा कि 2 रातों से आर्यन से कोई पूछताछ नहीं की गई है। उन्होंने ये भी कहा कि इससे ज्यादा आर्यन को बंधक बनाकर नहीं रखा जा सकता।
लगभग ढाई घंटे की बहस के बाद एडिशनल चीफ मेट्रोपॉलिटन मजिस्ट्रेट आर. एम. निर्लेकर ने फैसला सुनाते हुए कहा कि आर्यन खान और अन्य दूसरे आठ अभियुक्तों से एनसीबी की टीम 5 दिन तक पूछताछ कर चुकी है।
इसके अलावा इन सभी अभियुक्तों से जाँच के बाद कुछ विशेष जानकारी भी एनसीबी ने कोर्ट में नहीं रखी है। मजिस्ट्रेट ने कहा कि इस मामले में आर्यन खान और दूसरे अन्य अभियुक्तों से जितनी पूछताछ एनसीबी को करनी थी, वह कर चुकी है। ऐसे में इससे ज्यादा एनसीबी की हिरासत में नहीं रखा जा सकता।
यही कारण रहा कि अदालत ने आर्यन खान, अरबाज़ मर्चेंट, मुनमुन धनेचा और अन्य पाँच अभिुक्तों को न्यायिक हिरासत में भेजने का हुक्म सुना दिया।
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