महाराष्ट्र में हुए भीमा कोरेगाँव प्रकरण की जांच केंद्र सरकार ने राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) को सौंप दी है। इसे लेकर महाराष्ट्र में राजनीति गर्मा गई है। महाराष्ट्र की महा विकास अघाडी सरकार ने केंद्र के इस फ़ैसले को लेकर कड़ी नाराज़गी जताई है। बीजेपी के विरोधी दलों ने केंद्र के इस फ़ैसले की क़ानून वैधता को लेकर सवाल खड़े किये हैं। केंद्र ने यह फ़ैसला ऐसे समय में लिया है जब महाराष्ट्र सरकार ने इस प्रकरण की जांच नए सिरे से करवाने का निर्णय कर लिया था और वह एसआईटी जांच का आदेश देने की तैयारी में थी लेकिन केंद्र ने अचानक एनआईए को इसकी जांच सौंप दी।
भीमा कोरेगांव: केंद्र के एनआईए को जांच सौंपने पर खड़े हुए सवाल
- महाराष्ट्र
- |
- 26 Jan, 2020
महाराष्ट्र में हुए भीमा कोरेगाँव प्रकरण की जांच केंद्र सरकार ने राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) को सौंप दी है। इसे लेकर महाराष्ट्र में राजनीति गर्मा गई है।

एनसीपी प्रमुख शरद पवार और प्रदेश के गृह मंत्री अनिल देशमुख ने केंद्र सरकार की नीयत पर सवाल खड़े करते हुए कहा है कि इस मामले में वह किसी को बचाना चाहती है तथा निर्दोष सामाजिक व मानवाधिकार कार्यकर्ताओं को हमेशा के लिए जेल में डाले रखना चाहती है। पवार ने कहा है कि केंद्र सरकार के इस फ़ैसले से अब शक और गहरा गया है कि इस प्रकरण में पूर्व मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने ज़रूर कोई षड्यंत्र रचा है।