क्या यह सिर्फ़ संयोग है कि यस बैंक से पैसे निकालने की अधिकतम सीमा 50 हज़ार रुपए हर महीने का एलान होने के ठीक एक दिन पहले किसी ने अपने खाते से 265 करोड़ रुपए एक बार में ही निकाल लिए?
क्या है मामला?
वडोदरा स्मार्ट सिटी डेवलपमेंट कंपनी ने यह काम किया। इसकी पुष्टि हो चुकी है। कंपनी के एक आला अफ़सर ने नाम न छापने की शर्त पर सत्य हिन्दी को बताया कि 29 फरवरी को कंपनी की बोर्ड मीटिंग हुई। उसमें यह फ़ैसला लिया गया कि यस बैंक से पूरे पैसे निकाल लिए जाएं।
अर्थतंत्र से और खबरें
उस अधिकारी ने यह भी कहा कि हमें पता था कि यस बैंक की स्थिति अच्छी नहीं है और इसके साथ कभी भी कुछ भी हो सकता है। इसके मद्देनज़र यह फैसला लिया गया और पूरी रकम यानी 265 करोड़ रुपए निकाल लिए गए।
उसके अगले ही दिन यस बैंक से पैसे निकालने पर रोक लग गई। उस आला अफ़सर ने कहा कि हम भाग्यशाली रहे, वर्ना हमारा भी पैसा फंसा रह सकता था। वडोदरा स्मार्ट सिटी डेवलपमेंट कंपनी ने पूरे पैसे बैंक ऑफ़ बड़ोदा में जमा करा दिए।
यह कंपनी वडोदरा नगरपालिका की कंपनी है और पूरी तरह सरकारी नियंत्रण में है। उसे स्मार्ट सिटी परियोजना के लिए ये पैसे केंद्र सरकार से अनुदान के रूप में मिले थे।
इसी तरह आंध्र प्रदेश के तिरुमला तिरुपति देवस्थानम ट्रस्ट बोर्ड ने भी अपने पूरे पैसे यानी 1,300 करोड़ रुपए यस बैंक से एक दिन में ही निकाल लिए।
इसी तरह आंध्र प्रदेश के तिरुमला तिरुपति देवस्थानम ट्रस्ट बोर्ड ने भी अपने पूरे पैसे यानी 1,300 करोड़ रुपए यस बैंक से एक दिन में ही निकाल लिए।
जमाकर्ताओं के लिए चिंता का सबब यह है कि रिज़र्व बैंक ने यस बैंक से महीने भर में अधिकतम 50 हज़ार रुपए निकालने की सीमा तय कर दी है। यह सीमा 3 अप्रैल तक लागू रहेगी। केंद्रीय बैंक ने यह छूट ज़रूर दे रखी है कि मेडिकल इमर्जेंसी की स्थिति में यस बैंक से अधिकतम 5 लाख रुपए निकाले जा सकते हैं।
रिज़र्व बैंकं के गवर्नर शक्तिकांत दास ने कहा है कि अधिकतम पैसे निकालने की सीमा तय करने का फ़ैसला सर्वोच्च स्तर पर लिया गया है। इसके साथ ही मुख्य आर्थिक सलाहकार कृष्णमूर्ति सुब्रमणियन ने कहा है कि सभी जमाकर्ताओं के पैसे सुरक्षित हैं और किसी को चिंता करने की कोई ज़रूरत नहीं है।
अपनी राय बतायें