पाकिस्तान की जेल में क़ैद भारतीय नागरिक कुलभूषण जाधव की फांसी पर अंतरराष्ट्रीय अदालत (आईसीजे) ने रोक लगा दी है। अदालत ने बुधवार को कहा कि जाधव को काउंसलर एक्सेस मिलना चाहिए था और यह उसका अधिकार है। अदालत ने यह भी कहा कि पाकिस्तान ने वियना समझौते का उल्लंघन किया है। अदालत ने जाधव के पक्ष में 15-1 से फ़ैसला सुनाया है। नीदरलैंड के द हेग में स्थित इंटरनेशनल कोर्ट में भारतीय समयानुसार शाम 6:30 बजे से मामले की सुनवाई हुई। कोर्ट ने फ़ैसला सुनाते हुए कहा कि इस मामले का दोबारा ट्रायल होना चाहिए और पाकिस्तान को इस फ़ैसले पर पुनर्विचार करना चाहिए। प्रमुख न्यायाधीश अब्दुलक़ावी अहमद यूसुफ़ ने फ़ैसला सुनाया। आईसीजे ने भारत और पाकिस्तान की दलीलें सुनने के बाद इस साल 21 फ़रवरी को अपना फ़ैसला सुरक्षित रखा था। मामले की कार्यवाही पूरी होने में 2 साल और 2 महीने का वक्त लगा। पाकिस्तान के क़ानूनी विशेषज्ञों की एक टीम भी हेग पहुँची थी। आईसीजे के इस फ़ैसले को भारत की बड़ी जीत माना जा रहा है और पाकिस्तान को इससे करारा झटका लगा है क्योंकि उसकी सभी दलीलों को अदालत ने खारिज कर दिया है।