संसद मार्ग थाने के पास खुलेआम भड़काऊ नारेबाज़ी। दिल्ली में आग लगाने की कोशिश। भावनाएं भड़काने वालों के चेहरे भी साफ हैं। फिर दिल्ली पुलिस के हाथ क्यों बंधे हैं?
संसद मार्ग थाने के पास खुलेआम भड़काऊ नारेबाज़ी। दिल्ली में आग लगाने की कोशिश। भावनाएं भड़काने वालों के चेहरे भी साफ हैं। फिर दिल्ली पुलिस के हाथ क्यों बंधे हैं?