मध्य प्रदेश के बाल आश्रय केंद्रों और संप्रेषण गृहों में रहने वालों बच्चों को अंडा, चिकन और पनीर देने का आदेश जारी हुआ। लेकिन राज्य के गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा का कहना है कि राज्य में अंडा-फंडा देने का कोई विचार नहीं है।
क्या जब मां-बाप बुरे समय से गुजरते हैं तो बच्चों को इन बातों की कितनी जानकारी देनी चाहिए?क्या उनमें बुरे समय की समझ है और नहीं है तो क्या उन्हें समझाना चाहिए। बच्चों के मेंटल हेल्थ से लेकर बच्चों से खराब स्थिति की बात किस हद तक करनी चाहिए? Satya Hindi
कोरोना वायरस से व्याप्त वर्तमान माहौल में सबसे नाजुक स्थिति विभिन्न आयु-समूहों के बच्चों और विद्यार्थियों की है। वायरस से बचाने के लिए बच्चों के स्कूल और कॉलेज बंद कर दिए गए हैं और वे बड़ों के साथ घरों में कैद रहने को मजबूर हैं।