महामना उदास हैं। नाराज़ हैं, खीझे हुए हैं। मन कर रहा है कि कोई विधर्मी, कोई कांग्रेसी, कोई लिबरल, कोई कम्युनिस्ट कहीं मिल जाए तो उठाकर पटक दें, उसे जी भरके कूटें, गुजराती में मन भर के गरियाएं।