देश के तमाम विपक्षी दल काफी समय से प्रधानमंत्री मोदी पर साम्प्रदायिक भाषण देने का आरोप लगा रहे हैं। इस संबंध में कांग्रेस, सीपीएम और अन्य दलों-संगठनों ने चुनाव आयोग में शिकायत की। सीपीएम ने एफआईआर कराने की कोशिश की। पत्रकार कुर्बान अली भी इस संबंध में एफआईआर कराने पहुंचे लेकिन चुनाव आयोग पर कोई असर नहीं पड़ा। वो कानों में तेल डाले बैठा रहा। पीटीआई ने गुरुवार दोपहर को खबर दी है कि केंद्रीय चुनाव आयोग ने अब पीएम मोदी के साथ-साथ कांग्रेस नेता राहुल गांधी से भी उनके बयानों पर जवाब मांगने का फैसला किया है। चुनाव आयोग ने दोनों नेताओं से 29 अप्रैल को 11 बजे तक जवाब देने को कहा गया है। चुनाव आयोग अकेले पीएम मोदी को नोटिस भेजने की हिम्मत नहीं जुटा पा रहा था। इसलिए राहुल को भी इसमें शामिल किया गया।