काँग्रेस पार्टी के नेता और सरपंच अजय पंडिता की निर्मम हत्या के बाद एक बार फिर से कश्मीरी पंडितों के नाम पर की जाने वाली सियासत तेज़ हो गई है। ज़ाहिर है कि ये हिंदू बनाम मुसलमान की सियासत है, भारत बनाम पाकिस्तान की सियासत है और इसमें नफ़रत तथा हिंसा कूट-कूटकर भरी जा रही है। और ये भी तब है जबकि केंद्र और राज्य दोनों जगह ऐसी सरकार का नियंत्रण है, जो खुद को हिंदुओं का अकेला ठेकेदार मानती है।