विश्व में ऊर्जा का प्रमुख स्रोत पश्चिम एशिया ख़ासकर ईरान और इराक़ में युद्ध जैसी हलचल के चलते वैश्विक हितों में टकराव की स्थिति है। पश्चिम एशिया के तेल प्रधान 10 देशों में पूरी दुनिया का 48 प्रतिशत तेल रिज़र्व और 38 प्रतिशत प्राकृतिक गैस भंडार है। ज़ाहिर-सी बात है कि जब भी पश्चिमी एशिया में हितों का टकराव होगा तब-तब वैश्विक भू-राजनीतिक और आर्थिक स्थिति स्वाभाविक रूप से प्रभावित होगी। इससे भारत भी अछूता नहीं रहेगा। इसलिए जैसे ही अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने ईरान के शीर्ष जनरल क़ासिम सुलेमानी को मारने का फ़ैसला किया वैसे ही भारत के हाथ-पाँव फूल गए। बता दें कि ईरान भारत के प्रमुख व्यापारिक साझेदारों में से एक है। भारतीय उपमहाद्वीप और फारस की खाड़ी में मज़बूत वाणिज्यिक, ऊर्जा, सांस्कृतिक और लोगों के बीच संबंध हैं।
अमेरिका-ईरान में जंग हुई तो भारत को होगा कितना बड़ा नुक़सान?
- विश्लेषण
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- 11 Jan, 2020

ईरान और इराक़ में युद्ध जैसी हलचल के चलते वैश्विक हितों में टकराव की स्थिति है। अमेरिका-ईरान में युद्ध हुआ तो भारत को होगा बड़ा नुक़सान?