चीन ने स्वीकार किया है कि उसके यहां दिसंबर से लेकर अभी तक साठ हजार मौतें हुईं हैं। इस पर विश्व स्वास्थ्य संगठन ने उससे यह डेटा उपलब्ध कराने को कहा है। दिसंबर में चीन ने कोविड से मरने वालों की संख्या मामूली बताई थी। इस तरह चीन के ताजा आंकड़ों पर हैरानी जताई जा रही है।
क्या चीन में कोरोना के प्रकोप से पूरी दुनिया पर महामारी का ख़तरा बढ़ गया है? विश्व स्वास्थ्य संगठन ने चेतावनी क्यों दी है? कोरोना का ये नया वायरस है या पुराना वायरस ने ही ख़तरनाक़ शक्ल ले ली है? भारत जैसे देश को क्या करना चाहिए क्या कोरोना से बचाव के उपाय फिर से शुरू कर दिए जाने चाहिए?
चीन सरकार अपने पिछले अनुभवों से इतना डरी हुई है कि यूनिवर्सिटी और कॉलेज छात्रों को उनके घरों में वापस भेजा जा रहा है, ताकि चीन में विरोध प्रदर्शन और आगे नहीं बढ़ पाए। अन्य देशों की तरह ही चीन में हमेशा छात्रों ने ही विरोध आंदोलनों का नेतृत्व किया है। जानिए, क्या चल रहा है वहां।
चीन में कोविड प्रतिबंधों और लॉकडाउन के खिलाफ बढ़ते प्रतिबंधों के बीच शंघाई में बीबीसी रिपोर्टर को चीन की पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया। एक स्विस रेडियो पत्रकार को भी पकड़ा गया। बीबीसी रिपोर्टर के ट्वीट से पता चलता है कि चीन में विरोध प्रदर्शन बढ़ता जा रहा है। पुलिस को चौराहों पर से लोगों को धक्का देकर हटाना पड़ रहा है। जानिए पूरा हालः
क्या चीन ने ही जैविक हथियार के रूप में पैदा किया कोरोना? तीसरे विश्व युद्ध का चीनी हथियार है कोरोना वायरस? द ऑस्ट्रेलियन अखबार ने किया है विस्फोटक दावा। देखिए वरिष्ठ पत्रकार नीलू व्यास की रिपोर्ट-
Satya Hindi News Bulletin। सत्य हिंदी समाचार बुलेटिन। रिपोर्ट के दावे से उठे सवाल- क्या चीन का जैविक हथियार है कोरोना? Report : Chinese scientists allegedly investigated weaponising coronaviruses five years before Covid-19 pandemic
चीन के जानलेवा कोरोना वायरस या वुहान वायरस का डर दुनिया भर में फैल रहा है और यही डर भारत में भी है। विदेश मंत्रालय ने कहा है कि चीन में भारतीयों के स्वास्थ्य की लगातार जाँच की जा रही है और नज़र रखी जा रही है।