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कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा की उत्तर प्रदेश में बढ़ती सक्रियता से प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ शायद बेचैन हैं। इसीलिए उनकी पुलिस ने उन महिला पुलिसकर्मियों के ख़िलाफ़ जांच के आदेश दे दिए हैं, जिन्होंने प्रियंका गांधी वाड्रा के साथ सेल्फ़ी ली थी।
इससे पहले योगी आदित्यनाथ आम आदमी पार्टी के उत्तर प्रदेश प्रभारी संजय सिंह की सक्रियता से भी परेशान हो गए थे और उनकी पुलिस ने कई जिलों में संजय सिंह के ख़िलाफ़ मुक़दमे दर्ज करा दिए थे।
लेकिन प्रियंका गांधी वाला मामला योगी सरकार की खीज को दिखाता है। प्रियंका देश की सियासत में जाने-पहचाने नेहरू-गांधी परिवार से आती हैं। उत्तर प्रदेश में राजनीति करती हैं। महिला पुलिसकर्मियों ने उनके साथ सेल्फ़ी लेकर ऐसा क्या गुनाह कर दिया कि उनके ख़िलाफ़ जांच के आदेश दे दिए जाएं।
सोशल मीडिया के इस बेहद आधुनिक युग में लगभग हर आदमी के पास स्मार्टफ़ोन है और हर कोई सेल्फ़ी ले रहा है, वीडियो बना रहा है। महिला पुलिसकर्मी ड्यूटी पर थीं और उस दौरान उन्होंने प्रियंका के साथ सेल्फ़ी लेकर संविधान या ड्यूटी के नियमों के ख़िलाफ़ कौन सा ग़लत काम कर दिया है, यह उत्तर प्रदेश की पुलिस को बताना चाहिए।
प्रियंका उस दौरान आगरा में कथित रूप से पुलिस की हिरासत में मारे गए अरुण वाल्मीकि के परिजनों से मिलने लखनऊ से आगरा जा रही थीं। पहले तो पुलिस ने उन्हें जाने नहीं दिया, फिर हिरासत में ले लिया, कार्यकर्ताओं के भारी विरोध के बाद जाने की इजाजत मिली तो अपनी खीज को प्रियंका के साथ सेल्फ़ी लेने वाली महिला पुलिसकर्मियों पर उतार दिया।
लखनऊ के पुलिस आयुक्त ध्रुव कांत ठाकुर ने इन महिला पुलिसकर्मियों के ख़िलाफ़ जांच के आदेश दिए हैं। उत्तर प्रदेश पुलिस की केंद्रीय डिवीजन के डीसीपी से कहा गया है कि वह इस बात की जांच करें कि क्या महिला पुलिसकर्मियों का सेल्फ़ी लेना पुलिस के नियम-क़ायदों का उल्लंघन है। डीसीपी की रिपोर्ट के बाद पुलिस आयुक्त ठाकुर इस संबंध में कोई फ़ैसला ले सकते हैं।
प्रियंका ने महिला पुलिसकर्मियों के ख़िलाफ़ कार्रवाई की ख़बर आते ही ट्वीट भी किया। प्रियंका ने लिखा कि इस तसवीर से योगी जी इतने व्यथित हो गए हैं कि इन महिला पुलिसकर्मियों पर कार्रवाई करना चाहते हैं।
कांग्रेस नेता ने कहा, “अगर मेरे साथ तसवीर लेना गुनाह है तो इसकी सजा भी मुझे मिले, इन कर्मठ और निष्ठावान पुलिसकर्मियों का कैरियर ख़राब करना सरकार को शोभा नहीं देता।”
योगी आदित्यनाथ जी, सियासत में बड़ा दिल रखिए। आपकी पार्टी के स्तंभ पुरूष अटल बिहारी वाजपेयी उदार मन के थे, सभी दलों के नेता उनका सम्मान करते थे। इस तरह एक सेल्फ़ी लेने पर आप जांच करवाएंगे, किसी नेता को किसी पीड़ित परिवार से मिलने नहीं देंगे, आगरा के दलित परिवारों को आपकी पुलिस बेरहमी से पीटेगी, सीएए का विरोध करने वालों के आप होर्डिंग-पोस्टर लगवा देंगे, इतनी नफ़रत मन में भरकर आप सिर्फ़ कुछ लोगों के मुख्यमंत्री रह गए हैं, जबकि मुख्यमंत्री पूरे प्रदेश का होता है।
यह सही है कि चुनाव सामने हैं, आपको अपनी सत्ता बचानी है लेकिन उसका दंड आप सेल्फ़ी लेने वाली महिला पुलिसकर्मियों को क्यों दे रहे हैं। प्रियंका गांधी ने कहा भी है कि सेल्फ़ी लेने की सजा आप उन्हें दे दें, इन महिला पुलिसकर्मियों को तंग न करें।
लेकिन आपकी पुलिस ने महिला पुलिसकर्मियों के ख़िलाफ़ जांच के आदेश देकर दिखा दिया है कि आपकी सरकार बहुत छोटे दिल के साथ काम कर रही है।
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