आख़िर क्यों कांग्रेस पार्टी गाँधी परिवार से बाहर निकलने की नहीं सोच पाती है? ऐसा क्या है कि वह उसी परिवार के इर्द गिर्द घूमती रहती है? यह परिवार इस पार्टी की ख़ूबी है या बोझ?
कांग्रेस में अध्यक्ष पद को लेकर अभी सस्पेंस कुछ दिन और बना रह सकता है। हालाँकि शुक्रवार शाम तय माना जा रहा था कि शनिवार सुबह नया अध्यक्ष चुन लिया जाएगा। लेकिन देर रात तक चली बैठक के बाद हालात बदल गए हैं।
सुषमा स्वराज अपने बेहद सहज और मिलनसार स्वभाव की वजह से राजनीतिक गलियारों में सबकी चहेती रहींं। सभी पार्टियों में नेताओं से उनके व्यक्तिगत अच्छे संबंध थे। उनकी यादें हमेशा ताज़ा रहेंगी।
कांग्रेस में पिछले 2 महीने से अध्यक्ष पद को लेकर बनी असमंजस की स्थिति स्वतंत्रता दिवस से पहले ख़त्म हो सकती है। यानी 15 अगस्त से पहले कांग्रेस को नया अध्यक्ष मिल सकता है।
तीन तलाक़ क़ानून को जल्द ही सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी जाएगी। मुसलिम संगठन ख़ासकर ऑल इंडिया मुसलिम पर्सनल लॉ बोर्ड इसकी तैयारी कर रहा है। तो किस आधार पर चुनौती देंगे ये संगठन?
हज़ार साल या उससे भी ज़्यादा समय से चली आ रही किसी सामाजिक बुराई को एक क़ानून बनाकर दो-चार साल में ख़त्म करने के सपने देखना कोई बहुत बड़ी अक़्लमंदी का काम तो नहीं है।
कांग्रेस के अध्यक्ष पद को लेकर संकट लगातार गहराता जा रहा है कांग्रेस के अंदर से ख़बर आ रही है कि प्रियंका गाँधी ने भी कांग्रेस अध्यक्ष की ज़िम्मेदारी संभालने से साफ़ इंकार कर दिया है। आख़िर कोई क्यों नहीं बनना चाहता है पार्टी अध्यक्ष?
दिल्ली की पूर्व मुख्यमंत्री शीला दीक्षित की चिता की आग अभी ठंडी नहीं हुई है कि उनके कथित ‘आख़िरी ख़त’ ने कांग्रेस में हड़कंप मचा दिया है। क्या है उस 'ख़त' में?
राहुल गाँधी के इस्तीफ़े से परेशान कांग्रेस के नेता अब प्रियंका में पार्टी का भविष्य देख रहे हैं। कुछ बड़े नेता अब इस कोशिश में जुटे हैं कि अगर राहुल अपनी ज़िद पर अड़े रहते हैं तो फिर प्रियंका उनकी जगह लें और अध्यक्ष बनें। देखिए क्या कहा वरिष्ठ पत्रकार यूसुफ़ अंसारी ने।
कांग्रेस के अंदरूनी ख़ेमों से ख़बरें आने लगी हैं कि वरिष्ठ नेताओं का एक गुट अब प्रियंका गाँधी को अध्यक्ष बनाने की कवायद में जुट गया है। नेताओं ने पार्टी के भीतर और बाहर भूमिका तैयार करनी शुरू कर दी है।
कांग्रेस में अध्यक्ष पद को लेकर चल रही क़वायद लंबी खिंचने से पार्टी में घमासान मच गया है। पार्टी नेताओं के बीच की अंदरूनी कलह अब खुलकर सामने आने लगी है।
कांग्रेस में इस्तीफ़ों का दौर जारी है। ज्योतिरादित्य सिंधिया ने भी कांग्रेस महासचिव पद से इस्तीफ़ा दे दिया है। अब सवाल उठता है कि क्या प्रियंका गाँधी भी तो इस्तीफ़ा नहीं देंगी?