तालिबान ने काबुल पर क़ब्ज़ा किया नहीं कि चीन ने तुरन्त उसकी ओर दोस्ती और सहयोग का हाथ बढ़ा दिया। क्या वह अफ़ग़ानिस्तान के ज़रिए कज़ाख़स्तान, उज़बेकिस्तान, ताज़िकस्तान होते हुए यूरोप तक पहुँचना चाहता है?
भारत ने अगस्त महीने के अध्यक्ष होने के नाते संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में अफ़ग़ानिस्तान पर हुई आपातकालीन बैठक बुलाई, लेकिन उसमें पाकिस्तान को नहीं न्योता। इसलामाबाद ने इस पर कड़ी आपत्ति जताई है।
अमेरिका ने तालिबान से वार्ता की, अफ़ग़ानिस्तान में तालिबान के कब्जे के बाद चीन, पाकिस्तान, ईरान जैसे देशों ने समर्थन की घोषणा की। लेकिन भारत ने क्या किया? कहीं भारत अलग-थलग तो नहीं पड़ता जा रहा है?
बाइडन ने अफ़ग़ानिस्तान के राष्ट्रपति अशरफ ग़नी अपने देश को युद्ध के लिए तैयार करने में फ़ेल रहे। उन्होंने यह भी कहा कि अमेरिका पुरानी ग़लतियों को अब नहीं दोहराएगा।
Satya Hindi news Bulletin सत्य हिंदी समाचार बुलेटिन। चीन ने कहा - तालिबान के साथ मैत्रीपूर्ण रिश्ते बनाने के पक्ष में। रिपोर्ट : हेलिकॉप्टर में भरकर पैसा ले गए अफगान राष्ट्रपति
तालिबान के कब्ज़े से क्या अफगानिस्तान आतंकवादियों का सुरक्षित ठिकाना बनेगा? क्या अल क़ायदा और इस्लामिक स्टेट जैसे संगठनों को तालिबान से मदद मिलेगी? मुकेश कुमार के साथ चर्चा में शामिल हैं- डॉ. वेद प्रताप वैदिक, क़ुरबान अली, फिरोज़ मीठीबोरवाला, सज्जाद अज़हर पीरज़ादा
Satya Hindi news Bulletin सत्य हिंदी समाचार बुलेटिन। इमरान : अफ़ग़ानिस्तान में गुलामी की बेड़ियों को तोड़ दिया गया। काबुल हवाई अड्डे पर गोलीबारी, पाँच मरे, जहाज़ से 3 गिरे
क्या है औरतों के लिए तालिबानी फ़रमान? काबुल पर तालिबान के कब्ज़े से अफ़रा-तफ़री, हवाई अड्डे से भयावह दृश्य। पेगासस मामले में सुप्रीम कोर्ट में हुई सुनवाई, CJI बोले जवाब से संतुष्ट नहीं। जाति जनगणना बीजेपी के गले की हड्डी बना! दिनभर की बड़ी ख़बरों का विश्लेषण-