सुप्रीम कोर्ट ने 2019 में अनुच्छेद 370 को ख़त्म करने के फ़ैसले को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर सोमवार को फ़ैसला दे दिया है। जानिए, अदालत ने क्या-क्या कहा।
जम्मू-कश्मीर में अनुच्छेद 370 को निरस्त करने को सुप्रीम कोर्ट द्वारा वैध ठहराए जाने के फैसलो को पीएम मोदी ने ऐतिहासिक बताया है। इस फैसले के बाद विभिन्न राजनैतिक दलों ने अपनी प्रतिक्रिया दी है। भाजपा ने इसका स्वागत किया है।
जम्मू-कश्मीर का विशेष दर्जा ख़त्म करने को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर फैसला देते हुए इसके राज्य के दर्जे और चुनाव को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने निर्देश दिए हैं। जानिए इसने क्या कहा।
2019 में जम्मू कश्मीर के विशेष दर्जे को ख़त्म करने के लिए अनुच्छेद 370 को रद्द करने के फ़ैसले की वैधता पर अब फैसला आने वाला है। जानिए, सुप्रीम कोर्ट ने क्या कहा है।
सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र सरकार से पूछा कि असम और पूर्वोत्तर भारत में घुसपैठ रोकने के लिए अब तक क्या किया है। सुप्रीम कोर्ट ने पूछा कि एक जनवरी, 1966 से 25 मार्च, 1971 के दौरान असम में आए कितने लोगों को भारतीय नागरिकता दी गई है।
विपक्ष शासित राज्यों में राज्यपालों द्वारा विधेयकों पर तरह-तरह का अड़ंगा लगाए जाने के मामले में सुप्रीम कोर्ट ने फिर से तमिलनाडु के राज्यपाल की अलोचना की है? जानिए, सुप्रीम कोर्ट ने क्या कहा।
विपक्ष शासित राज्यों में आख़िर राज्यपालों द्वारा विधेयकों को वर्षों तक रोके जाने के मामले क्यों सामने आ रहे हैं? जानिए, सुप्रीम कोर्ट एक के बाद एक राज्यपालों को फटकार क्यों लगा रहा है।
सुप्रीम कोर्ट ने माना है कि केंद्र सरकार के पास दिल्ली सरकार के मुख्य सचिव की नियुक्ति करने का अधिकार है। इन अधिकारों में सेवानिवृत होने वाले अधिकारी का कार्यकाल बढ़ाने का अधिकार भी है।
क्या कला या कलाकारों को सीमाओं में बांधा जा सकता है? जानिए, पाकिस्तान के कलाकारों पर भारत में काम देने पर प्रतिबंध लगाने की मांग वाली याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने क्या कहा।
लॉ से जुड़ी खबरों की वेबसाइट लाईव लॉ की रिपोर्ट के मुताबिक शुक्रवार को सुप्रीम कोर्ट ने जनहित याचिकाओं के उस समूह पर फैसला सुरक्षित रख लिया। इसमें हिंडनबर्ग रिसर्च द्वारा अडानी समूह की कंपनियों के खिलाफ लगाए गए आरोपों की अदालत की निगरानी में जांच की मांग की गई थी।
गृह मामलों की संसदीय स्थायी समिति ने मंगलवार को विवाहेत्तर संबंधों या एडल्टरी और होमोसेक्सुएलिटी को फिर से भारतीय न्याय संहिता के दायरे में लाने की सिफारिश की है।