उत्तर प्रदेश में एक तरफ तो बीजेपी के तमाम नेता तमाम चुनावी कार्यक्रमों में शामिल हो रहे हैं लेकिन लखनऊ में होने वाले कांग्रेस के कार्यक्रम को रोक दिया गया है। सरकार ने ओमिक्रॉन के खतरों की वजह से लगाई गई धारा 144 का हवाला देकर इसे रोका। यह कार्यक्रम लड़कियों के लिए कल आयोजित किया जाना था।
त्रिपुरा में हाल ही में हुई हिंसा और पत्रकारों पर की गई कार्रवाई के मामले की जांच चौंकाने वाली है। एडीटर्स गिल्ड आफ इंडिया की टीम ने वहां जाकर सारे मामले की जांच की। गिल्ड की रिपोर्ट जारी कर दी गई है। गिल्ड ने साफ कहा है कि वहां पत्रकारों पर पुलिस दमन सरकार के इशारे पर हुआ।
देश
में तमाम धार्मिक स्थलों को जब निशाना बनाया जा रहा है। समुदाय विशेष के
नरसंहार की धमकी दी जा रही है तो बेलुड़ मठ में क्रिसमस मनाया जा रहा है।बेलुड़ मठ की स्थापना स्वामी विवेकानंद ने की थी।
हरियाणा में पहले मुसलमानों के खुले में नमाज पढ़ने का विरोध हुआ और अब ईसाइयों की प्रार्थना में बाधा पहुँचाई गई है और वह भी क्रिसमस के मौके पर। आखिर यह हो क्या रहा है और सरकार क्या कर रही है?
कन्नौज में एक और इत्र व्यापारी के घर और दफ्तरों पर सीबीआईसी ने छापे मारे हैं। बीजेपी नेता इस व्यापारी का संबंध भी सपा से बताने में जुट गए हैं। इस बीच सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने एक ट्वीट कर मामले को दिलचस्प बना दिया है।
स्कूल के दलित छात्र/छात्राओं ने भी सामान्य वर्ग की भोजन माता के हाथों से खाना खाने से इनकार कर दिया है। इस मामले में उत्तराखंड के दलित संगठन भी मुखर होकर सामने आए हैं।
उत्तराखंड में विधानसभा चुनाव से ठीक पहले कैबिनेट मंत्री हरक सिंह रावत की नाराज़गी और इस्तीफ़े की जोरदार चर्चा के बाद उत्तराखंड बीजेपी ने शायद डैमेज कंट्रोल कर लिया है।