'सुल्ली फॉर सेल' नामक एक ओपन सोर्स वेबसाइट बनाई गई, जिस पर मुसलमान महिलाओं के ट्विटर हैंडल से जानकारियाँ और तसवीरें निकाल कर डाली गई और इन्हें सार्वजनिक तौर पर 'नीलाम' किया गया, जिसे 'सुल्ली डील' कहा गया है।
कांग्रेस टूलकिट से जुड़े बीजेपी प्रवक्ता संबित पात्रा के ट्वीट को मैनिपुलेटेड मीडिया टैग करने के बाद ट्विटर इंडिया के प्रबंध निदेशक से पूछताछ की गई थी।
सिने कलाकार रणदीप हुड्डा अपने एक पुराने वीडियो के कारण मुसीबत में घिर गए हैं। इस वीडियो में वे उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री मायावती पर एक बेहूदा जोक सुना रहे हैं लेकिन इसका वीडियो अब वायरल हुआ है।
सरकार को दोषी ठहराने के बजाय सोशल मीडिया पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का महिमामंडन किया जा रहा है, इसके लिए ऐसे-ऐसे तर्क दिए जा रहे हैं कि ग़रीब, अशिक्षित और कई बार शिक्षित जनता भी मान बैठती है कि हां, ये बात सही ही है।
देश में कोरोना संकट के लिए चौतरफ़ा आलोचनाओं झेल रहे प्रधानमंत्री मोदी के नाम पर सोशल मीडिया पर फिर से किरकिरी हुई है। एक अंतरराष्ट्रीय मीडिया के नाम से मिलती-जुलती वेबसाइट ने प्रधानमंत्री मोदी की तारीफ़ की तो निशाने पर आ गए।
फ़ेसबुक इंडिया ने यह माना है कि उसने वायरल हो चुके #ResignModi को कुछ समय के लिए ब्लॉक कर दिया था। उसने सफाई देते हुए कहा है कि यह गलती से हो गया था और ऐसा करने के लिए केंद्र सरकार ने उससे कहा नहीं था।
सुरेश नाखुआ (@SureshNakhua) ने अपने आधिकारिक ट्विटर हैंडल जिसे की ब्ल्यू टिक हासिल है, से 20 अप्रैल को एक वीडियो अपलोड किया। इस वीडियो में दिखाया गया कि एक जीवित व्यक्ति को कफ़न में बांधकर अंतिम संस्कार के लिए ले जाया जा रहा है।
कोरोना के बढ़ते संक्रमण, टीका व ऑक्सीजन की कमी और महामारी से होने वाली मौतों पर लोगों का गुस्सा उबल रहा है अब वह सोशल मीडिया पर फूट पड़ा है। बड़ी तादाद में लोगों ने ट्विटर पर आकर अपने गुस्से का इज़हार किया है और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से इस्तीफ़े की माँग की।
फ़ेसबुक डाटा सुरक्षा में सेंधमारी की बार-बार आती रही रिपोर्टों के बीच अब 53 करोड़ फ़ेसबुक यूज़रों की गुप्त जानकारी ऑनलाइन पाई गई है। जिनकी जानकारियाँ लीक हुई हैं वे 100 से अधिक देशों के यूजरों की हैं।
गाज़ियाबाद के जिस मंदिर में पानी पीने के लिए 14 साल के मुसलिम बच्चे की बेरहमी से पिटाई करने की ख़बर आई थी उस मंदिर के बोर्ड को लेकर अब सोशल मीडिया पर अभियान चलाया जा रहा है। अभियान कि वह बोर्ड नहीं हटाया जाएगा।
तीरथ सिंह रावत को बीजेपी आलाकमान ने उत्तराखंड के मुख्यमंत्री की कुर्सी पर बैठाया तो इसलिए कि वे राज्य में कुछ बेहतर काम करेंगे लेकिन रावत ने कुर्सी पर बैठते ही विवादित बयानों की बौछार लगा दी है।