पंजाब में खालिस्तानी नेता अमृतपाल सिंह खालसा और उसके समर्थकों पर एक्शन को पंजाब के विपक्षी दलों का समर्थन मिल रहा है। हालांकि शिरोमणि अकाली दल और बादल परिवार ने चुप्पी साध ली है। लेकिन कांग्रेस औऱ बीजेपी नेता खुलकर सरकारी कार्रवाई का समर्थन कर रहे हैं।
केंद्र सरकार ने अमृतपाल सिंह पर कार्रवाई से पहले ही पंजाब में अतिरिक्त सुरक्षा बल भेज दिया था। जिसमें राज्य में हो रही जी-20 की बैठकों को शुक्रवार को खत्म होने के बाद अमृतपाल और उसके साथियों को गिरफ्तार करने की योजना थी।
केंद्र सरकार द्वारा दायर की गई प्रगति रिपोर्ट में कहा गया है कि पंजाब सरकार ने अन्य राज्यों के साथ नदी जल के बंटवारे पर 1985 के पंजाब अकॉर्ड (राजीव-लोंगोवाल समझौते) को रिओपेन करने की मांग की है।
पंजाब में पुलिस ने आज बड़ी कार्रवाई की। खालिस्तान समर्थक अमृतपाल सिंह खालसा के करीब 78 समर्थकों को गिरफ्तार कर लिया और अमृतपाल की तलाश में छापे मारे जा रहे हैं। हालांकि पहले खबर आई थी कि उसे गिरफ्तार किया गया है, लेकिन पंजाब पुलिस ने रात को स्थिति साफ करते हुए कहा कि अमृतपाल की तलाश हो रही है। राज्य में इंटरनेट कल रविवार तक निलंबित कर दिया गया है।
बलकौर सिंह ने पत्रकारों से बात करते हुए कहा “मैं आज यहां आया हूं क्योंकि हमारे पास कोई दूसरा विकल्प नहीं है।10 माह में कोई ठोस काम नहीं हुआ है। पुलिस और प्रशासन को कार्रवाई के लिए पर्याप्त समय दिया गया था।
कट्टरपंथी सिख संगठन की कार्यकारी समिति ने सोमवार को दल खालसा कार्यालय में हुई एक बैठक में यह पत्र लिखने और अमृतसर में प्रतिनिधियों की बैठक के साथ एक सार्वजनिक समारोह आयोजित करने का निर्णय लिया।
पंजाब के सेंट्रल जेल गोइंदवाल में कैदियों में रविवार को खूनी संघर्ष हुआ और सिद्धू मूसेवाला हत्या से जुड़े आरोपियों के मारे जाने की ख़बर है। जानें कौन हैं ये आरोपी।
पंजाब में धार्मिक चोला पहनकर सामने आए अमृतपाल सिंह खालसा खुद का जनरैल सिंह भिंडरावाला का अवतार बता रहा है। वो भी भिंडरावाला की तरह खालिस्तान की बात कह रहा है। दोनों और क्या समानताएं हैं, बता रहे हैं पत्रकार अमरीकः
पंजाब पुलिस प्रमुख गौरव यादव ने सभी थाना प्रभारी (एसएचओ) रैंक तक के अधिकारियों के साथ बैठक की और उन्हें लॉ एंड ऑर्डर बिगाड़ने वालों से सख्ती से निपटने का निर्देश दिया।
अजनाला में हुई घटना पंजाब के भविष्य को लेकर डराने वाली है। इसके पीछे का कारण अजनाला में हुई घटना के पीछे जो व्यक्ति है, वह बहुत तेज गति से बढ़ता तीस साल का एक लड़का है, अमृतपाल सिंह।
पंजाब के अजनाला में पुलिस दफ्तर पर कब्जा मामूली घटना नहीं है। इस सारे मामले में अमृतपाल सिंह खालसा को लेकर तमाम सवाल पूछे जा रहे हैं। किसी समय बीजेपी के साथ अकाली दल ने केंद्रीय एजेंसियों की भूमिका को लेकर सवाल किए हैं। पंजाब के घटनाक्रम पर पत्रकार अमरीक की नजर बनी हुई है। पेश है उनकी एक और रिपोर्टः
पंजाब को अलगवावाद की तरफ मोड़ने की कोशिश करने वाला अमृतपाल सिंह खालसा और उसका वारिस पंजाब दे संगठन कौन हैं, उनकी गतिविधियां कैसे राष्ट्रविरोधी हैं, जानिए इस रिपोर्ट सेः
पंजाब में जो कुछ हो रहा है, उस पर तमाम जिम्मेदार नेताओं की चुप्पी चुभने वाली है। खुलेआम खालिस्तान की मांग पर पीएम मोदी, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह, सीएम भगवंत मान का कुछ न बोलना देश को महंगा पड़ सकता है।