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हम वही गलतियां करेंगे तो कांग्रेस के जाने, हमारे आने का कोई मतलब नहीं: गडकरी

नितिन गडकरी ने फिर से अपनी ही सरकार को लेकर खरी-खरी बात कह दी है। उन्होंने कह दिया कि जब बीजेपी भी कांग्रेस की तरह ही ग़लतियाँ करेगी तो बीजेपी के आने का कोई मतलब नहीं है। गडकरी केंद्रीय मंत्री हैं और वह अपनी ही पार्टी की सरकार को लेकर टिप्पणी कर रहे थे। वह भी अपनी पार्टी के ही कार्यकर्ताओं के सामने।

गडकरी पणजी के पास तालेगाओ में गोवा भाजपा की कार्यकारिणी की बैठक को संबोधित कर रहे थे। इसमें मुख्यमंत्री प्रमोद सावंत, राज्य भाजपा अध्यक्ष सदानंद शेट तनावड़े, पार्टी विधायक, कार्यकर्ता और स्वयंसेवक शामिल हुए।

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कांग्रेस द्वारा पहले की गई ग़लतियों को दोहराने के ख़िलाफ़ चेतावनी देते हुए केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने शुक्रवार को कहा कि जैसा कि वरिष्ठ नेता लालकृष्ण आडवाणी कहा करते थे, भाजपा एक अलग तरह की पार्टी रही है।

द इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के अनुसार उन्होंने कहा, 'लोगों ने कांग्रेस की गलतियों के कारण भाजपा को चुना। अगर हम वही ग़लतियां करते हैं, तो उनके सत्ता से बाहर जाने और हमारे सत्ता में आने का कोई मतलब नहीं होगा।'

रिपोर्ट के अनुसार उन्होंने कहा, 'आडवाणी जी कहते थे कि हम एक अलग तरह की पार्टी हैं। हमें समझना होगा कि हम दूसरी पार्टियों से कितने अलग हैं। इसलिए आने वाले दिनों में पार्टी कार्यकर्ताओं को यह पता होना चाहिए कि राजनीति सामाजिक और आर्थिक सुधार लाने का साधन है।' 
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उन्होंने पार्टी कार्यकर्ताओं से आग्रह किया, 'हमें देश से भ्रष्टाचार को मिटाना होगा और इसके लिए एक योजना बनानी होगी।' गडकरी ने कहा कि महाराष्ट्र में जाति के आधार पर राजनीति करने का चलन है। उन्होंने कहा, 'मैंने इस चलन को न अपनाने का फैसला किया है। मैंने लोगों को साफ कर दिया है कि मैं जाति आधारित राजनीति नहीं करूंगा। जो करेगा जाट की बात, उसको कसके मारूंगा।' 
वैसे, गडकरी अक्सर कई मुद्दों पर खरी-खरी राय रखते रहे हैं और इस वजह से वह सुर्खियों में भी रहे हैं। इसी साल मार्च महीने में गडकरी ने कहा था कि गाँव, ग़रीब, मजदूर और किसानों की हालत ख़राब है।

द लल्लनटॉप के साथ इंटरव्यू में नितिन गडकरी ने कहा था, '...इसका कारण यह है कि जल, जंगल, जमीन और जानवर, रुरल, एग्रीकल्चर और ट्राइबल... ये जो इकोनमी है यहाँ अच्छे रोड नहीं हैं। पीने के लिए शुद्ध पानी नहीं है। अच्छे स्कूल नहीं हैं। किसान की फसल के अच्छे भाव नहीं है।' 

कुछ महीने पहले ही गडकरी ने मजाकिया अंदाज में कहा था कि चाहे कोई भी राजनीतिक दल सत्ता में हो, अच्छा प्रदर्शन करने वालों को शायद ही वह पहचान मिल पाती है जिसके वे हकदार होते हैं।

गडकरी ने कहा था, 'मैं हमेशा मजाक में कहता हूं कि चाहे किसी भी पार्टी की सरकार हो, एक बात तय है कि जो अच्छा काम करता है उसे कभी सम्मान नहीं मिलता और जो बुरा काम करता है उसे कभी सजा नहीं मिलती।'

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क़रीब एक साल पहले गडकरी ने कहा था कि पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह द्वारा शुरू किए गए आर्थिक सुधारों के लिए देश उनका ऋणी रहेगा। नितिन गडकरी अपनी बातों को बिना किसी लाग लपेट के कहने के लिए जाने जाते हैं। गडकरी ने एक कार्यक्रम में कहा था कि मनमोहन सिंह के द्वारा शुरू किए गए आर्थिक सुधारों की वजह से ही वह महाराष्ट्र में मंत्री रहते हुए सड़कों के निर्माण के लिए धन जुटा सके। 

उन्होंने कहा था कि उदार आर्थिक नीतियां गरीबों और किसानों के लिए हैं। गडकरी ने कहा था कि चीन इसका अच्छा उदाहरण है कि किस तरह से उदार आर्थिक नीतियाँ किसी देश के विकास में मददगार हो सकती हैं। 

2022 के मध्य में गडकरी राजनीति के तौर-तरीकों से इतने आहत हो गए थे कि उन्होंने राजनीति छोड़ने की बात कह दी थी। नितिन गडकरी ने नागपुर में एक कार्यक्रम के दौरान कहा था कि कभी-कभी तो उनका मन करता है कि वह राजनीति ही छोड़ दें। 

गडकरी ने कहा था कि महात्मा गांधी के समय की राजनीति और आज की राजनीति में बहुत बदलाव आ गया है। जिस समय देश आजाद हुआ था उस समय की राजनीति में देश, विकास और समाज के लिए बातें होती थी लेकिन आज की राजनीति में सिर्फ सत्ता के लिए बातें होती हैं। 

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क़मर वहीद नक़वी
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