कर्नाटक ने अपने राज्य में घुसने पर चार राज्यों- महाराष्ट्र, गुजरात, तमिलनाडु और केरल के लोगों पर प्रतिबंध लगा दिया है। इन राज्यों के लोग 31 मई तक कर्नाटक में नहीं घुस पाएँगे। महाराष्ट्र, गुजरात और तमिलनाडु देश में सबसे ज़्यादा कोरोना प्रभावित राज्य हैं, जबकि केरल में सबसे पहले कोरोना संक्रमण का मामला आया था।
कर्नाटक सरकार का यह फ़ैसला ऐसे समय में आया है जब केंद्र सरकार ने एक दिन पहले ही लॉकडाउन 4.0 की घोषणा की है और साथ ही कंटेनमेंट ज़ोन के बाहर लॉकडाउन में ढील देने की भी घोषणा की है। इसके लिए दिशा-निर्देश जारी किए गए हैं। इनमें कहा गया है कि अंतरराज्यीय आवागमन दो राज्यों की सहमति से हो सकती है।
महाराष्ट्र में एक दिन में अब तक का सबसे ज़्यादा
कोरोना संक्रमण के 2347 मामले दर्ज किए गए। 63 लोगों की मौत भी हो गई। राज्य में संक्रमण के मामले अब 33 हज़ार को पार कर गए हैं। देश भर में सबसे ज़्यादा प्रभावित राज्य महाराष्ट्र ही है। राज्य में सबसे ज़्यादा प्रभावित मुंबई शहर है। राज्य में जो 2347 मामले आए उसमें से 1595 सिर्फ़ मुंबई शहर में ही आए हैं। शहर में कुल संक्रमण के मामले 20 हज़ार के पार कर गए हैं। सिर्फ़ मुंबई में ही अब तक 734 लोगों की मौत हो चुकी है। पूरे राज्य में अब तक 1198 लोगों की मौत हो चुकी है और 7688 लोग पूरी तरह से ठीक भी हो चुके हैं।
महाराष्ट्र के बाद गुजरात में 11 हज़ार 379 संक्रमण के मामले आ चुके हैं और राज्य में 659 लोगों की मौत हो चुकी है। देश में तीसरे स्थान पर तमिलनाडु है जहाँ अब तक 11 हज़ार 224 पॉजिटिव मामले आ चुके हैं और राज्य में 78 लोगों की मौत हो चुकी है। देश में सबसे पहले केरल में ही कोरोना संक्रमण का मामला आया था लेकिन अब राज्य में कोरोना वायरस नियंत्रण में है। फिर भी केरल के लोग बाहर के देशों में काफ़ी ज़्यादा संख्या में रहते हैं और उन्हें वापस देश लाया जा रहा है।पूरे देश भर में पॉजिटिव मामलों की संख्या 96 हज़ार 169 हो गई है और मरने वालों की संख्या 3029 हो गई है। अब तक देश भर में 36 हज़ार लोग ठीक हुए हैं।
इन तीनों राज्यों की तुलना में कर्नाटक में कोरोना संक्रमण के मामले काफ़ी कम आए हैं और राज्य में फ़िलहाल 1147 संक्रमण के मामले आए हैं और 37 लोगों की मौत हुई है।
इसके साथ ही कर्नाटक में ढील देने का फ़ैसला लिया गया है। मंत्रियों और वरिष्ठ अधिकारियों के साथ बैठक के बाद मुख्यमंत्री बीएस येदियुरप्पा ने कहा कि ट्रेनों को चलाने की अनुमति दी जाएगी और सोशल डिस्टेंसिंग मानदंडों के साथ सरकारी बसों को भी चलाने की अनुमति दी जाएगी। हालाँकि कंटेनमेंट ज़ोन और रेड ज़ोन में ये गाड़ियाँ नहीं चलाई जाएँगी। बसों में केवल 30 यात्रियों को ही जाने की अनुमति होगी।कर्नाटक के उप मुख्यमंत्री अश्वथ नारायण ने एक उच्च स्तरीय बैठक के बाद कहा कि कल यानी मंगलवार से पार्कों को खोला जाएगा। हालाँकि उन्होंने यह भी कहा कि राज्य में रविवार को पूरी तरह लॉकडाउन रहेगा और सिर्फ़ ज़रूरी जीचों की ही छूट होगी। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार केंद्र द्वारा जारी दिशा-निर्देशों को पूरी तरह लागू करेगी।
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