केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने आगले वित्तीय वर्ष 2024-25 के लिए बजट पेश किया। चूँकि यह लोकसभा चुनाव से पहले का आखिरी बजट है, इसलिए यह बजट अंतरिम है। अगला पूर्ण बजट जुलाई में पेश किया जाएगा, जब लोकसभा चुनाव के बाद नई सरकार शपथ लेगी। बहरहाल, वित्त मंत्री ने कहा कि अगले पांच साल देश के लिए अभूतपूर्व विकास का समय होगा, विकसित भारत का मार्ग प्रशस्त होगा। जानिए, अपने भाषण में निर्मला सीतारमण ने क्या-क्या घोषणाएँ कीं।
- आयकर स्लैब में कोई बदलाव नहीं।
- संशोधित राजकोषीय घाटा वित्तीय वर्ष 2024 के लिए सकल घरेलू उत्पाद का 5.8% है। वित्त वर्ष 2025 में राजकोषीय घाटा जीडीपी का 5.1% रहने का अनुमान है। वित्त वर्ष 2026 में राजकोषीय घाटे को सकल घरेलू उत्पाद के 4.5% से कम करने का लक्ष्य है।
- बुनियादी ढांचा क्षेत्र पर खर्च 11 प्रतिशत बढ़ाकर 11.11 लाख करोड़ रुपये किया जाएगा। यह जीडीपी का 3.4 प्रतिशत है।
- कर दाखिल करने वालों की संख्या 2.4 गुना बढ़ गई। 2014 के बाद से प्रत्यक्ष कर संग्रह तीन गुना हो गया है।
- वित्त मंत्री ने प्रधानमंत्री आवास योजना-ग्रामीण के तहत 2 करोड़ और घरों की घोषणा की है।
- कर रिटर्न की प्रक्रिया में लगाने वाला समय 2014 में 93 दिन से घटकर अब 10 दिन रह गया है, रिफंड तेजी से किया गया।
- सरकार 2014 से पहले के वक्त के आर्थिक कुप्रबंधन पर श्वेतपत्र लेकर आएगी।
- देश में 10 साल में 25 करोड़ लोगों को गरीबी से बाहर निकाला गया है, सरकार गरीबों को सशक्त बना रही है।
- मुफ्त राशन से 80 करोड़ लोगों की खाने की चिंता खत्म हुई है।
- देश के 1.4 करोड़ युवाओं को कौशल भारत मिशन का लाभ मिला है।
- अगले पांच साल देश के लिए अभूतपूर्व विकास का समय होगा, विकसित भारत का मार्ग प्रशस्त होगा।
- उड़ान योजना के तहत 517 नये मार्ग जोड़े जाएंगे।
- राज्यों में विकास के लिए 75,000 करोड़ रुपये के ब्याज-मुक्त कर्ज का प्रावधान किया गया है।
- 50-वर्षीय ब्याज मुक्त ऋण उपलब्ध कराने के लिए 1 लाख करोड़ रुपये का कोष स्थापित किया जाएगा। यह कोष कम या शून्य ब्याज दरों पर लंबी अवधि के लिए वित्तपोषण करेगा।
- रूफ-टॉप सोलराइजेशन के माध्यम से 1 करोड़ परिवार हर महीने 300 यूनिट तक मुफ्त बिजली प्राप्त करने में सक्षम होंगे। सरकार का लक्ष्य 2070 तक 'नेट जीरो' हासिल करना है।
- पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए विकास को प्रोत्साहित करने के लिए राज्यों को दीर्घकालिक ब्याज मुक्त ऋण प्रदान किया जाएगा।
- गरीब, महिलाएँ, युवा और किसान - उनकी ज़रूरतें, उनकी आकांक्षाएँ देश के विकास का मार्गदर्शन करेंगी।
- सरकार 2047 तक भारत को 'विकसित भारत' बनाने की दिशा में काम कर रही है...हमारा ध्यान सबका साथ, सबका विकास पर है।
बता दें कि अंतरिम बजट से पहले एक समीक्षा रिपोर्ट में वित्त मंत्रालय ने अनुमान लगाया है कि आने वाले वर्षों में भारतीय अर्थव्यवस्था 7 प्रतिशत से अधिक बढ़ने की संभावना है और अगले तीन वर्षों में 5 ट्रिलियन डॉलर की जीडीपी के साथ दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनने की उम्मीद है।
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