पूर्व वित्त मंत्री पी चिदंबरम ने जेल जाने से पहले कहा कि वह देश की आर्थिक स्थिति को लेकर चिंतित हैं। सीबीआई अदालत ने जब
चिदंबरम को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेजने और तिहाड़ जेल ले जाने का आदेश दिया तो वह चुप रहे। चिदंबरम को आईएनएक्स मीडिया केस में पद का दुरुपयोग करने, ग़लत तरीके से उस कंपनी को विदेशी निवेश दिलवाने और मनी लॉन्डरिंग करने के आरोप हैं।
अदालत से बाहर निकलने पर जब पत्रकारों ने चिदंबरम से पूछा कि आप को इस फैसले पर क्या कहना है, उन्होंने कहा, 'मुझे सिर्फ़ देश की अर्थव्यवस्था की चिंता हो रही है।'
इसके पहले बुधवार को जब पी चिदंबरम को प्रवर्तन निदेशालय के मामले में सुप्रीम कोर्ट ले जाया जा रहा था, उन्होंने मुस्करा कर पंजे से 'पाँच' का इशारा किया था। इसकी व्याख्या इस रूप में की गई कि वह सकल घरेलू उत्पाद यानी जीडीपी के 5 प्रतिशत तक पहुँचने पर सरकार पर तंज कर रहे थे। उसके एक दिन पहले ही सरकारी एजेन्सी के आँकड़े से ही पता चला था कि जीडीपी छह साल के न्यूनतम स्तर पर पहुँच चुकी है।
पी चिदंबरम मनमोहन सिंह सरकार में वित्त मंत्री थे और समझा जाता है कि उनके समय में आर्थिक स्थिति बेहतर थी, उस समय जीडीपी वृद्धि की दर 7 प्रतिशत के ऊपर मानी गई थी। अब जबकि जीडीपी छह साल के न्यूनतम स्तर पर है, पूर्व वित्त मंत्री का तंज करना स्वाभाविक माना जाता है।
इसे इस रूप में भी देखा जा रहा है कि वित्त मंत्री यह साबित करना चाहते हैं कि वह निर्दोष हैं, इसलिए इन बातों से प्रभावित नहीं है। इसके अलावा वह 'विक्टिम कार्ड' भी खेलना चाहते हैं, यानी वह यह दिखाना चाहते हैं कि उन्हें राजनीतिक बदले की भावना के तहत फँसाया गया है।
क्या हैं आरोप?
पी चिंदबरम पर आरोप है कि उन्होंने आईएनएक्स मीडिया को विदेशी पूंजी निवेश की मंजूरी देने में घपला किया, अपने पद का दुरुपयोग किया और जानबूझ कर नियमों का उल्लंघन कर आईएनएक्स को 300 करोड़ रुपये के निवेश की छूट दिलवाई, जबकि उसे 41 करोड़ रुपये के निवेश की अनुमति मिली थी। उनके बेटे कार्ति पर आरोप यह है कि उन्होंने एक बेनामी कंपनी बना कर आईएनएक्स से पैसे लिए और उसे विदेशी निवेश की छूट पिता से कह कर दिलवाई।
चिदंबरम पर यह भी आरोप है कि उन्होंने इस पैसे का इस्तेमाल विदेशों में जायदाद खरीदने में किया। इसमें उन्होंने नियम क़ानून का उल्लंघन किया और इस तरह मनी लॉन्डरिंग भी की। प्रवर्तन निदेशालय यानी ईडी में यह मामला अलग से चल रहा है।
इसके पहले आज दिन में अदालत ने आईएनएक्स मीडिया मामले में चिदबंरम की याचिका को खारिज करते हुए उन्हें अग्रिम जमानत देने से इनकार कर दिया है। अब यह संभावना जताई जा रही है कि प्रवर्तन निदेशालय चिदंबरम को गिरफ़्तार कर सकता है।
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