प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राष्ट्रीय एकता दिवस या राष्ट्रीय एकता दिवस समारोह के अवसर पर कहा, भारत की बढ़ती ताकत और एकता से भयभीत कुछ ताकतें अराजकता फैलाना चाहती हैं। वे भारत की अर्थव्यवस्था को अस्थिर करना और ग्लोबल निवेशकों को रोकना चाहती हैं। उन्होंने हर देशभक्त से आह्वान किया इन "शहरी नक्सलियों" को पहचानें और उनका मुकाबला करें। देश की एकता को निशाना बनाने वाले ये लोग कलह के एजेंट हैं।
PM Modi warns against Urban Naxals and their political backers who want to weaken Indian society, culture, break India and weaken Indian democracy! pic.twitter.com/xfAmLGwL3H
— The Analyzer (News Updates🗞️) (@Indian_Analyzer) October 31, 2024
मोदी ने कहा- "ये लोग संविधान और लोकतंत्र की दुहाई देते हुए, भारत को इसके लोगों के बीच विभाजित करने का काम कर रहे हैं। हमें शहरी नक्सलियों के इस गठबंधन को पहचानना चाहिए। हालांकि जंगलों में पनपने वाला नक्सलवाद, जिसने युवाओं को बंदूकों से लैस किया, धीरे-धीरे खत्म हो गया या कम हो गया है। लेकिन शहरी नक्सलवाद का एक नया मॉडल सामने आया है। हमें उन लोगों की पहचान करने और उनका मुकाबला करने की जरूरत है जो देश को तोड़ने का सपना देखते हैं और झूठे मुखौटे पहनकर इसे कमजोर करने वाले विचारों को बढ़ावा देते हैं।''
एक देश एक चुनाव का भी जिक्रः प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी ने राष्ट्रीय एकता दिवस पर एक देश एक चुनाव का उल्लेख किया। मोदी ने कहा- मेरी सरकार 'एक राष्ट्र एक चुनाव' हासिल करने की दिशा में काम कर रही है जो लोकसभा और राज्य विधानसभाओं के लिए एक साथ चुनाव सुनिश्चित करेगी।
मोदी ने कहा- “...हम अब एक देश एक चुनाव की दिशा में काम कर रहे हैं, जो भारत के लोकतंत्र को मजबूत करेगा, भारत के संसाधनों का सर्वश्रेष्ठ नतीजा देगा और देश को विकसित भारत के सपने को प्राप्त करने में नई गति मिलेगी। आज भारत एक राष्ट्र, एक नागरिक संहिता यानी एक धर्मनिरपेक्ष नागरिक संहिता की ओर बढ़ रहा है।”
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