loader

मॉनसून सत्र: दोनों सदनों में हंगामा, सोमवार तक स्थगित 

शुक्रवार को भी संसद की कार्यवाही शुरू होते ही संसद के दोनों सदनों में हंगामा हुआ। इस वजह से राज्यसभा और लोकसभा को सोमवार तक के लिए स्थगित करना पड़ा। 

लोकसभा में सत्ता पक्ष के सांसदों ने सोनिया गांधी माफी मांगो, अधीर रंजन चौधरी माफी मांगो के नारे लगाए तो विपक्षी सांसदों ने सांसदों के निलंबन, महंगाई, मूल्यवृद्धि जैसे अहम मुद्दों पर चर्चा न कराए जाने के खिलाफ नारेबाजी की।

संसदीय कार्य मंत्री प्रहलाद जोशी ने कहा कि अधीर रंजन चौधरी ने अभी तक माफी नहीं मांगी है। उन्होंने कहा कि जब द्रौपदी मुर्मू को राष्ट्रपति पद का उम्मीदवार घोषित किया गया था तब भी कांग्रेस की ओर से खराब बयान आया था। उन्होंने कहा कि अधीर रंजन चौधरी के बयान के लिए सोनिया गांधी को माफी मांगनी चाहिए।

राष्ट्रपत्नी के बयान पर हंगामा

गुरुवार को संसद के दोनों सदनों में भी कांग्रेस नेता अधीर रंजन चौधरी के राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को राष्ट्रपत्नी कहे जाने को लेकर हंगामा हुआ, इसे लेकर माहौल तनावपूर्ण बना रहा था और दोनों सदनों को स्थगित करना पड़ा था। 

Parliament Monsoon Session LIVE 2022 Rashtrapatni remark controversy - Satya Hindi

अधीर के बयान पर हंगामे के दौरान कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी और केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी के बीच तनातनी होने की बात भी सामने आई। 

अधीर रंजन चौधरी ने एक टीवी चैनल के साथ बातचीत में राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू के लिए राष्ट्रपत्नी शब्द का प्रयोग किया था। हालांकि विवाद होने के बाद उन्होंने कहा कि यह शब्द उनसे ग़लती से निकल गया था। चौधरी लोकसभा में कांग्रेस के संसदीय दल के नेता हैं। 

उधर, लोकसभा और राज्यसभा से विपक्ष के सांसदों को निलंबित किए जाने के खिलाफ और अहम मुद्दों पर संसद में चर्चा कराने की मांग को लेकर कई दलों के सांसदों का संसद परिसर में धरना जारी है। 
Parliament Monsoon Session LIVE 2022 Rashtrapatni remark controversy - Satya Hindi

19 विपक्षी सांसद निलंबित

बता दें कि राज्यसभा में जोरदार हंगामे के बाद मंगलवार को 19 सांसदों को एक सप्ताह के लिए निलंबित कर दिया गया था। इसके पीछे उनके खराब व्यवहार को वजह बताया गया है। विपक्षी सांसदों ने सदन के अंदर महंगाई, मूल्य वृद्धि पर विरोध दर्ज कराया था। 

जिन सांसदों को निलंबित किया गया है उनमें सुष्मिता देव, मौसम नूर, शांता छेत्री, डोला सेन, शांतनु सेन, अभि रंजन बिस्वार, नदीमुल हक, हमाम अब्दुल्ला, बी. लिंगैया यादव, एए रहीम, रविहंद्र वद्दीराजू, एस. कल्याणसुंदरम, आर गिररंजन, एनआर एलंगो, वी. शिवदासन, एम. षणमुगम, दामोदर राव दिवाकोंडा, संदोश कुमार पी., डॉ. कनिमोझी एनवीएन सोमू शामिल हैं। 

इससे पहले सोमवार को लगातार हंगामे के बाद खराब व्यवहार को वजह बताते हुए 4 लोकसभा सांसदों को पूरे मानसून सत्र के लिए निलंबित कर दिया गया था। ये सांसद मनिकम टैगोर, टीएन प्रतापन, जोथिमणि और राम्या हरिदास हैं।

देश से और खबरें

तीन और सांसद निलंबित

गुरुवार को तीन और सांसदों को राज्यसभा से निलंबित कर दिया गया। इनके निलंबन के पीछे भी खराब व्यवहार को वजह बताया गया है। निलंबित सांसदों के नाम अजीत कुमार भुइयां, सुशील कुमार गुप्ता और संदीप पाठक हैं।

Parliament Monsoon Session LIVE 2022 Rashtrapatni remark controversy - Satya Hindi

मॉनसून सत्र 2022 अपनी शुरूआत से ही हंगामेदार रहा है और इस वजह से अब तक संसद के दोनों सदनों में कोई ज्यादा कामकाज नहीं हो सका है। बीते दोनों ही सदनों में सांसदों ने महंगाई, मूल्य वृद्धि, जीएसटी की बढ़ी दरों के खिलाफ नारेबाजी की है। जबकि कांग्रेस सांसदों ने ईडी के दुरुपयोग का आरोप लगाते हुए संसद परिसर में प्रदर्शन किया था।  

देश से और खबरें

सत्र शुरू होने से पहले ही रार

बता दें कि मॉनसून सत्र शुरू होने से पहले ही सत्ता पक्ष और विपक्ष में जबरदस्त रार शुरू हो गई थी। तब लोकसभा सचिवालय की ओर से जारी किए गए बुलेटिन में कुछ शब्दों को असंसदीय करार दिए जाने पर अच्छा-खासा हंगामा हुआ था। विपक्ष के कई नेताओं ने कहा था कि वे इन शब्दों का इस्तेमाल जरूर करेंगे। 

इसके अलावा राज्यसभा सचिवालय की ओर से जारी एक लिखित आदेश में कहा गया था कि सांसद किसी भी तरह के प्रदर्शन, धरना, हड़ताल, उपवास या फिर कोई धार्मिक कार्यक्रम करने के उद्देश्य से संसद भवन के परिसर का इस्तेमाल ना करें। इसका विपक्ष ने विरोध किया था। संसद भवन में प्लेकार्ड, पैंफलेट आदि ले जाने पर भी रोक लगाई गई थी। 

सत्य हिन्दी ऐप डाउनलोड करें

गोदी मीडिया और विशाल कारपोरेट मीडिया के मुक़ाबले स्वतंत्र पत्रकारिता का साथ दीजिए और उसकी ताक़त बनिए। 'सत्य हिन्दी' की सदस्यता योजना में आपका आर्थिक योगदान ऐसे नाज़ुक समय में स्वतंत्र पत्रकारिता को बहुत मज़बूती देगा। याद रखिए, लोकतंत्र तभी बचेगा, जब सच बचेगा।

नीचे दी गयी विभिन्न सदस्यता योजनाओं में से अपना चुनाव कीजिए। सभी प्रकार की सदस्यता की अवधि एक वर्ष है। सदस्यता का चुनाव करने से पहले कृपया नीचे दिये गये सदस्यता योजना के विवरण और Membership Rules & NormsCancellation & Refund Policy को ध्यान से पढ़ें। आपका भुगतान प्राप्त होने की GST Invoice और सदस्यता-पत्र हम आपको ईमेल से ही भेजेंगे। कृपया अपना नाम व ईमेल सही तरीक़े से लिखें।
सत्य अनुयायी के रूप में आप पाएंगे:
  1. सदस्यता-पत्र
  2. विशेष न्यूज़लेटर: 'सत्य हिन्दी' की चुनिंदा विशेष कवरेज की जानकारी आपको पहले से मिल जायगी। आपकी ईमेल पर समय-समय पर आपको हमारा विशेष न्यूज़लेटर भेजा जायगा, जिसमें 'सत्य हिन्दी' की विशेष कवरेज की जानकारी आपको दी जायेगी, ताकि हमारी कोई ख़ास पेशकश आपसे छूट न जाय।
  3. 'सत्य हिन्दी' के 3 webinars में भाग लेने का मुफ़्त निमंत्रण। सदस्यता तिथि से 90 दिनों के भीतर आप अपनी पसन्द के किसी 3 webinar में भाग लेने के लिए प्राथमिकता से अपना स्थान आरक्षित करा सकेंगे। 'सत्य हिन्दी' सदस्यों को आवंटन के बाद रिक्त बच गये स्थानों के लिए सामान्य पंजीकरण खोला जायगा। *कृपया ध्यान रखें कि वेबिनार के स्थान सीमित हैं और पंजीकरण के बाद यदि किसी कारण से आप वेबिनार में भाग नहीं ले पाये, तो हम उसके एवज़ में आपको अतिरिक्त अवसर नहीं दे पायेंगे।
क़मर वहीद नक़वी
सर्वाधिक पढ़ी गयी खबरें

अपनी राय बतायें

देश से और खबरें

ताज़ा ख़बरें

सर्वाधिक पढ़ी गयी खबरें