देश में कोरोना संक्रमित लोगों की संख्या मंगलवार को दो लाख की सीमा पार कर गई। इसके लगभग 15 दिन पहले यह तादाद 1 लाख के पार हो गई थी।
यह महत्वपूर्ण है कि पिछले तीन दिन से लगातार रोज़ाना 8 हज़ार से अधिक लोग कोरोना टेस्ट में पॉज़िटिव पाए जा रहे थे। यानी रोज़ाना कोरोना के आठ हज़ार मामले सामने आ रहे थे।
यह संख्या उस समय सामने आई है जब केंद्र सरकार ने लॉकडाउन को चरणबद्ध तरीके से हटाने का एलान कर दिया है और हटाना शुरू भी कर दिया है।
'अनलॉक'
यह विडंबना है कि जिस दिन देश को 'अनलॉक' करने का काम शुरू हुआ, उसके अगले ही दिन कोरोना रोगियों की संख्या दो लाख के पार हो गई। यह भी विडंबना ही है कि पूर्वोत्तर में कोरोना का संक्रमण ठीक इसी समय तेज़ी से बढने लगा है। मिज़ोरम में एक जगह ही 12 लोगों को संक्रमित होने का मामला सामने आया।
इसी दिन बिहार ने क्वरेन्टाइन केंद्रों को बंद करने के फ़ैसले का एलान किया और बाहर से आ रहे लोगों की थर्मल स्क्रीनिंग तक बंद कर दी। उसी दिन देश में कोरोना रोगियों की संख्या दो लाख हो गई।
कई रिपोर्टों में कहा गया है कि जून और जुलाई महीने में कोरोना के मामले उफान पर होंगे। तब क्या होगा जब गंभीर मरीज़ों के लिए आइसोलेशन वार्ड, आईसीयू और वेंटिलेटर की ज़रूरत बढ़ जाएगी। अभी भी लोग निजी अस्पतालों में इलाज करा रहे हैं और यह इलाज इतना महँगा है कि आम लोगों के बस की बात नहीं है।
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