राज्यसभा में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव का जवाब देते हुए, एलओपी मल्लिकार्जुन खड़गे ने नीट पेपर लीक मुद्दे पर सरकार पर निशाना साधा। खड़गे ने सुझाव दिया, "सिर्फ नीट या एनटीए (नेशनल टेस्टिंग एजेंसी) ही नहीं, बल्कि संपूर्ण शिक्षा प्रणाली की सुप्रीम कोर्ट के तहत समीक्षा की जानी चाहिए।" इस पर अध्यक्ष जगदीप धनखड़ ने कहा कि हर संस्थान को पहले अपना काम करना चाहिए।
मोदी सरकार जरूरी मुद्दों से जनता का ध्यान भटकाने की राजनीति करती है।
— Congress (@INCIndia) July 1, 2024
विपक्ष किसानों की बात करता है- तो नरेंद्र मोदी भैंस खोलने की बात करते हैं।
विपक्ष BJP की देश बांटने वाली सोच पर बात करता है- तो नरेंद्र मोदी औरंगजेब और मुगल की बात करते हैं।
विपक्ष बेरोजगारी और पेपर लीक की… pic.twitter.com/k5zurtrRhT
#WATCH | Lok Sabha LoP Rahul Gandhi raises the NEET irregularities issue, in the House.
— ANI (@ANI) July 1, 2024
He says, "A message is disseminated to the country, from Parliament. We want to give a message to students that NEET issue is important for the Parliament. So, to send this message we want… pic.twitter.com/MlXPdMFMH3
लोकसभा अध्यक्ष ओम बिड़ला ने नीट पर विपक्षी सांसदों के स्थगन प्रस्तावों को स्वीकार नहीं किया। पेपर लीक मुद्दे पर एक दिवसीय चर्चा के नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी के सुझाव पर भी विचार करने से इनकार कर दिया। उन्होंने कहा, "आप अपने सुझाव दे सकते हैं, लेकिन मैं फैसला करता हूं कि चर्चा नहीं होगी।" इस पर कई विपक्षी सांसद वॉकआउट करके चले गए। कांग्रेस सांसद मनीष तिवारी ने 1 जुलाई से लागू तीन नए आपराधिक कानूनों पर उन पर चर्चा के उद्देश्य से स्थगन प्रस्ताव पेश किया था। लेकिन स्पीकर ने उसे नामंजूर कर दिया।
राहुल गांधी और अन्य विपक्षी नेताओं ने बाद में सरकार से आश्वासन मांगा कि धन्यवाद प्रस्ताव पर बहस के बाद नीट मुद्दे पर चर्चा की जाएगी। नेता विपक्ष राहुल गांधी ने कहा, "हम संसद से छात्रों को संदेश भेज सकते हैं कि NEET का मुद्दा हमारे लिए बहुत महत्वपूर्ण है। हम इस पर बहस करेंगे।" इस पर स्पीकर ओम बिड़ला ने कहा- धन्यवाद प्रस्ताव पर बहस के दौरान कोई अन्य चर्चा करने की कोई परंपरा नहीं है। यानी कुल मिलाकर सरकार नीट पर चर्चा के लिए किसी भी रूप में राजी नहीं हुई।
अपनी राय बतायें