हमने यह स्टोरी हटा ली है। यह स्टोरी पहले इस शीर्षक के साथ जा रही थी - 'सरकार ने मानी ग़लती, क्या सुप्रीम कोर्ट बदलेगा फ़ैसला?' इस शीर्षक और स्टोरी में लिखी गई बातों से यह संदेश जाता था कि रफ़ाल पर सीएजी की रिपोर्ट की पीएसी जाँच के बारे में सरकार ने सुप्रीम कोर्ट को ग़लत सूचना दी जिसके कारण सुप्रीम कोर्ट के फ़ैसले में वह ग़लत जानकारी आई। लेकिन तथ्य यह है कि ग़लती सरकार की तरफ़ से नहीं हुई थी।
ख़बर को समझने में हुई इस संपादकीय चूक के लिए हम क्षमा माँगते हैं। विश्वास करें, हमने किसी ग़लत मंशा से वह ख़बर नहीं दी थी। यह केवल और केवल एक संपादकीय चूक है।
जिन पाठकों ने इस तरफ़ हमारा ध्यान दिलाया, हम उनके शुक्रग़ुज़ार हैं। हमारी कोशिश है कि हम सच्ची, ईमानदार और बेहतरीन पत्रकारिता के हर पैमाने पर खरे उतरें। जब इसमें ज़रा-सी भी कमी आती है तो सबसे ज़्यादा तक़लीफ़ और ग्लानि हमें ही होती है क्योंकि तब हमारी पत्रकारिता का मूल मक़सद ही समाप्त हो जाता है।
हमारी पूरी कोशिश होगी कि भविष्य में ऐसा दोबारा नहीं हो।
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