काबुल में गुरुद्वारे पर हमला करने वाले आतंकिवादियों में एक भारतीय भी था। उसकी पहचान मुहम्मद मुहसिन के रूप में की गई है।
इसलामिक स्टेट के आतंकवादियों ने बुधवार को अफ़ग़ानिस्तान की राजधानी स्थित एक गुरुद्वारे पर हमला कर 25 सिख श्रद्धालुओं को मार डाला।
आईएस का दावा
इसलामिक स्टेट की पत्रिका 'नबा' में शुक्रवार को इन सभी आतंकवादियों की तसवीरें छापी गईं। इन तसवीरों में जिसे अबुल खालिद अल-हिन्दी बताया गया है, उसकी पहचान मुहसिन के रूप में की गई है। उसके माता-पिता ने तसवीर देख उसकी पहचान की और उसका असली नाम बताया। मुहसिन केरल के कन्नूर ज़िले का रहने वाला था। वह 2018 में ही अफ़ग़ानिस्तान चला गया और इसलामिक स्टेट खुरासान प्रोविन्स में शामिल हो गया।
केरल के कसरगढ़ और मल्लापुरम ज़िलों से साल 2016 से अब तक कम से कम दो दर्जन युवक अफ़ग़ानिस्तान जा कर इसलामिक स्टेट में शामिल हो गए हैं।
केरल से अफ़ग़ानिस्तान!
केरल पुलिस ने इंडियन एक्सप्रेस से कहा कि मुहसिन केरल से गए 21 सदस्यों के पहले मोड्यूल में नहीं था। ये लोग केरल के अफ़ग़ानिस्तान के नंगरहर गए थे।
मुहसिन 2018 में केरल के पयन्नूर से नौकरी करने दुबई गया, वहाँ से वह अफ़ग़ानिस्तान चला गया। पुलिस का यह भी कहना है कि मुहसिन ने स्कूल में ही पढ़ाई छोड़ दी थी।
मुहसिन की माँ ने कहा कि दो दिन पहले ही इसलामिक स्टेट ने उन्हें सोशल मीडिया साइट टेलीग्राम पर कहा कि उनका बेटा 'शहीद' हो गया। लेकिन मुहसिन की माँ पुलिस को वह टेलीग्राम नहीं दिखा पाईं। उन्होंने कहा कि उन्होंने डर कर वह टेलीग्राम मैसेज डिलीट कर दिया।
केरल पुलिस खुफ़िया एजेन्सियों की मदद से यह पता लगाने की कोशिश में है कि क्या कोई और भारतीय इसलामिक स्टेट के लिए अफ़ग़ानिस्तान में काम कर रहा है।
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